नीतीश 5 साल का कार्यकाल पूरा नहीं कर पाएंगे : चिराग पासवान

पटना ,08 अगस्त (एजेंसी/FJ)। बिहार में राजनीतिक तूफान के बीच लोजपा (आर) के अध्यक्ष चिराग पासवान ने सोमवार को दावा किया कि नीतीश कुमार मुख्यमंत्री के रूप में अपना पांच साल का कार्यकाल पूरा नहीं कर पाएंगे। मध्यावधि चुनाव किसी भी समय हो सकता है। चिराग ने कहा, इस समय कोई नहीं जानता कि बिहार में क्या होने वाला है।

भले ही नीतीश कुमार महागठबंधन के नेताओं के साथ बातचीत के बाद अपनी सीट सुरक्षित करने में कामयाब रहे, फिर भी वह 2025 तक अपना कार्यकाल पूरा नहीं कर पाएंगे। महागठबंधन के नेता अति महत्वाकांक्षी हैं, जिस कारण मध्यावधि विधानसभा चुनाव होने की पूरी संभावना है।

उन्होंने कहा, नीतीश फिलहाल पल्टीमार योजना लागू करेंगे और मुख्यमंत्री की कुर्सी सुरक्षित कर लेंगे।

जद (यू) के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह द्वारा इस्तेमाल किए गए चिराग मॉडल पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए पासवान ने कहा कि चिराग मॉडल राज्य के विकास के लिए है।

चिराग ने कहा, हम बिहार पहले में विश्वास करते हैं। नीतीश मॉडल क्या होगा? नीतीश मॉडल बेरोजगारी, बाढ़, सूखा, अपराध, भ्रष्टाचार, शराब त्रासदी आदि के लिए है। जद-यू नेताओं को स्पष्ट करना चाहिए कि क्या है नीतीश मॉडल।

उन्होंने कहा, 2020 के विधानसभा चुनाव में 25 लाख लोगों ने चिराग मॉडल अपनाया, अगर नीतीश कुमार को इस पर आपत्ति है तो मैं उन्हें बताना चाहता हूं कि राज्य के 13 करोड़ लोग इसे अपना रहे हैं।

चिराग पासवान, ललन सिंह के इस बयान से खफा हैं कि चिराग मॉडल के चलते 2020 के विधानसभा चुनाव में जद-यू 43 सीटों पर पहुंच गया। ललन सिंह ने दावा किया कि एक विशेष राजनीतिक दल (भाजपा) ने नीतीश कुमार के खिलाफ साजिश रची और चुनाव में चिराग पासवान के माध्यम से उन्हें कमजोर किया।

चिराग पासवान ने लोजपा उम्मीदवारों को सिर्फ उन्हीं सीटों पर टिकट दिया था, जहां जदयू चुनाव लड़ रहा था।

**************************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

सबसे बड़ा दलबदलूः नेताजी ने कुछ ही घंटों में बदल ली तीन पार्टियां

 सुबह बीएसपी, दोपहर में कांग्रेस और फिर बीजेपी में हुए शामिल, दमोह में बीएसपी से पार्षद बने थे सुंदर लाल विश्वकर्मा

दमोह 08 Aug. (एजेंसी/FJ) दुनिया में भारत को सबसे बड़ा लोकतांत्रिक देश माना जाता है जहां स्थानीय सरकार से लेकर देश को चलाने वाली सरकारों को जनता ही चुनती है। मध्य प्रदेश में हाल ही में स्थानीय निकाय चुनाव हुए हैं जनता ने अपने प्रतिनिधि चुने हैं जो शहर की सरकार को चलाकर जनता के लिए काम करेंगे।

लोकतंत्र में जनता के दिए मत का जनप्रतिनिधि किस तरह से मजाक उड़ाते हैं इसकी बानगी देखने को मिली मध्य प्रदेश के दमोह जिले में जहां पथरिया नगरीय निकाय चुनाव में पार्षद पद पर जीत कर आए एक नेताजी ने एक ही दिन में तीन पार्टियां बदलकर रिकॉर्ड कायम कर दिया।

पथरिया नगर परिषद में बीएसपी से नव-निर्वाचित पार्षद सुंदर लाल विश्वकर्मा ने 5 अगस्त को सुबह बुहुजन समाज पार्टी में थे दोपहर में कांग्रेस की सदस्यता लेकर नगर परिषद अध्यक्ष पद का चुनाव लड़ा और जीत गए। सुंदल लाल को परिषद के 15 पार्षदो में से 8 मत मिले। अध्यक्ष बनते ही नेताजी ने बीजेपी की सदस्यता ले ली। बीएसपी के पार्षद द्वारा कुछ ही घंटों में तीन पार्टियां बदलने का रिकॉर्ड अपने नाम कर लिया। लोग सुंदर लाल के कारनामे को सुनकर हैरान है। अब लोग सुंदर लाल को सबसे बड़ा दलबदलू कह रहे हैं।

इस मामले पर बीएसपी की पथरिया विधायक रामबाई सिंह ने कहा कि सुंदल लाल ने पथरिया के लोग को निराश किया है। देश प्रदेश की राजनीति के इतिहास पहली बार ऐसा पहली बार हुआ है कि किसी जनप्रतिनिधि ने कुछ ही घंटों में तीन पार्टियां बदल ली। पथरिया नगर पंचायत में बीजेपी के केवल 4 पार्षद और 7 पार्षद कांग्रेस के पास थे। इसके बाद भी अब यहां बीजेपी का अध्यक्ष बन गया है।

कांग्रेस का अध्यक्ष जीतने के बाद कांग्रेस ने जश्न मनाना भी शुरू किया, पर कांग्रेस की खुशी ज्यादा देर तक नहीं रह सकी। नगर पंचायत का अध्यक्ष बनते ही सुंदर लाल ने कांग्रेस का साथ छोड़ दिया है औऱ वह बीजेपी में शामिल हो गए। बताया जा रहा है कि सुंदर लाल विश्वकर्मा को बीजेपी में सामिल कराने में मंत्री गोविंद सिंह और मंत्री भूपेंद्र सिंह ने अहम भूमिका निभाई है।

**************************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

विश्व आदिवासी दिवस : झारखंड जनजातीय महोत्सव की तैयारियों का अधिकारियों ने लिया जायजा

रांची,08.08.2022 (FJ)। मुख्यमंत्री के सचिव श्री विनय कुमार चौबे एवं कल्याण सचिव श्री केके सोन ने मंगलवार 9 अगस्त को विश्व आदिवासी दिवस के अवसर पर मोरहाबादी मैदान मे आयोजित झारखंड जनजातीय महोत्सव की तैयारियों का स्थल निरीक्षण किया। उन्होंने पदाधिकारियों को निर्देश दिया कि सभी तैयारियां पुख़्ता रखें। अतिथियों के इंट्री और एक्जिट प्वाइंट की व्यवस्था दुरुस्त रखें।

मुख्यमंत्री के सचिव श्री विनय कुमार चौबे ने निर्देश दिया कि मंच, वीआईपी लाउंज, प्रदर्शनी ग़ैलरी, मीडिया ग़ैलरी एवं लोगों की बैठने की व्यवस्था दुरुस्त रखें। उसके साथ प्रदर्शनी गैलरी को भी आकर्षक बनाने को कहा। गैलेरी में बनने वाले स्टॉल में सभी जानकारियों के लिए डिसप्ले बोर्ड लगाने का निर्देश दिया।

झारखण्ड जनजातीय महोत्सव के फूड पवेलियन में झारखण्ड के व्यजंनों का लोग ले सकेंगे लुत्फ

झारखण्ड जनजातीय महोत्सव के फूड पवेलियन में झारखण्ड के व्यजंनों का लोग लुत्फ ले सकेंगे। विश्व आदिवासी दिवस के अवसर पर मोरहाबादी मैदान में होनेवाले झारखण्ड जनजातीय महोत्सव में फूड कोर्ट का भी निर्माण कराया जा रहा है, जहां लोग झारखण्डी व्यंजनों का आंनद ले सकेंगे। मुख्यमंत्री के सचिव श्री विनय कुमार चौबे ने यहां सभी व्यवस्था दुरुस्त रखने का निर्देश दिया। साफ- सफाई का विशेष ध्यान रखने पर विशेष जोर दिया।

प्रदर्शनी गैलेरी में लोग झारखण्ड की कला-संस्कृति से हो सकेंगे रु-ब-रु

कार्यक्रम में बनने वाले प्रदर्शनी गैलेरी में लोग झारखण्ड की कला-संस्कृति से रु-ब-रु हो सकेंगे। यहां बनने वाले स्टॉल में झारखण्ड एवं यहां की जनजातियो से जुड़ी सभी जानकारियां प्रदर्शित की जायेंगी।

झारखण्ड जनजातीय महोत्सव के अवसर पर सेमिनार एवं पैनल डिस्कशन का भी होगा आयोजन

दो दिनों तक होने वाले झारखण्ड जनजातीय महोत्सव में सेमिनार एवं पैनल डिस्कशन का भी आयोजन किया जायेगा। सेमिनार एवं पैनल डिस्कशन 9 एवं 10 अगस्त को जनजातीय शोध संस्थान, एवं हॉकी स्टेडियम, मोरहाबादी में आयोजित होगा। इस सेमिनार एवं पैनल डिस्कशन में ख्यातिप्राप्त वक्ता भाग लेंगे।

मौक़े पर आदिवासी कल्याण आयुक्त श्री मुकेश कुमार, उपायुक्त श्री राहुल कुमार सिन्हा ,नगर आयुक्त श्री शशि रंजन सहित संबंधित विभाग के पदाधिकारी मौजूद थे।

********************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

भारतीय जलक्षेत्र में घुसा पाक नौसेना का युद्धपोत

*इंडियन कोस्ट गार्ड के डोर्नियर विमान को देख उल्टे पांव भागा*

नई दिल्ली 08 Aug. (एजेंसी/FJ): भारतीय तटरक्षक बल के डोर्नियर समुद्री निगरानी विमान ने पाकिस्तानी नौसेना के एक युद्धपोत का पता लगाया और उसे पीछे हटने के लिए मजबूर किया। बताया जा रहा है कि पाकिस्तानी युद्धपोत गुजरात के तट से समुद्री सीमा रेखा को पार कर भारतीय जलक्षेत्र में प्रवेश कर रहा था। सरकारी सूत्रों के अनुसार, यह कार्रवाई जुलाई के पहले पखवाड़े में मानसून के चरम पर होने के समय हुई। इस समय समुद्र में ऊंची लहरें उठ रही थीं। इसी दौरान पाकिस्तान नौसेना का जहाज (पीएनएस) आलमगीर अपनी तरफ से दोनों देशों के बीच समुद्री सीमा रेखा के पार भारतीय जल में चला गया था। भारतीय जल सीमा में प्रवेश करने के बाद, इसका पता सबसे पहले एक भारतीय तटरक्षक डोर्नियर विमान ने लगाया। डॉर्नियर आसपास के एक हवाई अड्डे से समुद्री निगरानी के लिए रवाना हुआ था।

भारतीय एजेंसियां समुद्री सीमा कानूनों को लेकर बहुत सख्त हैं। यहां भारतीय एजेंसियां अपने मछुआरों को अपनी तरफ से पांच समुद्री मील के भीतर किसी भी तरह की गतिविधियों की अनुमति नहीं देती हैं।

पाकिस्तानी युद्धपोत का पता लगाने के बाद, डोर्नियर ने अपने कमांड सेंटर को भारतीय जलक्षेत्र में अपनी मौजूदगी के बारे में सूचित किया और उस पर नजर रखना जारी रखा। सूत्रों के अनुसार, डोर्नियर ने पाकिस्तानी युद्धपोत को उसके स्थान के बारे में चेतावनी जारी की और उसे अपने क्षेत्र में लौटने के लिए कहा, लेकिन उसने कोई जवाब नहीं दिया। सूत्रों ने आगे कहा कि डोर्नियर पीएनएस आलमगीर के ऊपर मंडराता रहा। यहां तक कि उसकी मंशा जानने के लिए उसे अपने रेडियो संचार सेट पर कॉल करने की कोशिश भी की लेकिन पाकिस्तानी कप्तान ने पूरी तरह चुप्पी बनाए रखने का फैसला किया और कोई जवाब नहीं दिया।

भारतीय तटरक्षक बल और भारतीय वायु सेना गुजरात तट पर किसी भी दुस्साहस को रोकने के लिए बहुत सक्रिय है। इस इलाके में हाल के दिनों में पाकिस्तानी गतिविधियां विशेष रूप से नार्को-आतंकवाद में बढ़ी हैं। भारतीय तटरक्षक बल ने हाल ही में द्वारका के पास निर्जन द्वीपों और किसी भी संभावित राष्ट्र-विरोधी तत्वों के अन्य तटीय स्थानों को साफ करने के लिए ऑपरेशन आइलैंड वॉच भी चलाया था। भारतीय तटरक्षक बल के महानिदेशक वी.एस. पठानिया ने भी हाल ही में पोरबंदर क्षेत्र का दौरा किया था। उन्होंने वहां अपनी संरचनाओं की तैयारियों की समीक्षा की थी। तटरक्षक बल के होवरक्राफ्ट भी क्षेत्र में तैनात हैं। जल सीमा में मुस्तैदी से निगरानी होती है।

********************************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

 

फरार श्रीकांत त्यागी के फ्लैट के बाहर बना अवैध निर्माण ढहाया गया

नोएडा,08 अगस्त (एजेंसी/FJ)। महिला के साथ अभद्र व्यवहार करने के आरोपी श्रीकांत त्यागी द्वारा उत्तर प्रदेश के नोएडा स्थित उनके आवास के बाहर बनाए गए ‘अवैध’ निर्माण को ढहा दिया गया।

एक अधिकारी ने यह जानकारी दी। त्यागी अभी फरार है।उन्होंने बताया कि नोएडा प्राधिकरण ने सोमवार को सुबह लगभग नौ बजे शहर के सेक्टर-93बी स्थित ग्रैंड ओमैक्स सोसाइटी में त्यागी के ग्राउंड फ्लोर वाले अपार्टमेंट के बाहर बने अवैध निर्माण को ध्वस्त कर दिया।

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) का नेता होने का दावा करने वाले त्यागी के खिलाफ ग्रैंड ओमैक्स सोसाइटी की एक महिला के साथ अभद्रता करने के आरोप में मामला दर्ज किया गया है।

बताया जा रहा है कि महिला ने त्यागी द्वारा सोसायटी के साझा क्षेत्र में पौधे लगाने पर आपत्ति जताई थी, जिससे वह भड़क उठा था।

**************************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

जमात-ए-इस्लामी के सदस्यों के खिलाफ जम्मू,डोडा में एनआईए की छापेमारी

*आतंकवाद वित्त पोषण मामला*

जम्मू/डोडा,08 अगस्त (एजेंसी/FJ)।  एनआईए  ने आतंकवाद के वित्त पोषण मामले में प्रतिबंधित संगठन जमात-ए-इस्लामी (जेईआई) के सदस्यों के खिलाफ जम्मू और डोडा जिले में कई स्थानों पर सोमवार को छापेमारी की। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।

उन्होंने बताया कि दोनों जिलों के विभिन्न हिस्सों में जमात-ए-इस्लामी के पदाधिकारियों तथा सदस्यों के करीब 10 से अधिक ठिकानों पर एक ही समय पर छापेमारी की जा रही है। छापेमारी सोमवार तड़के शुरू की गई थी।

आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि डोडा जिले में धारा-गुंडाना, मुंशी मोहल्ला, अकरमबंद, नगरी नई बस्ती, खरोती भगवाह, थलेला और मालोती भल्ला और जम्मू के भटिंडी में छापेमारी की जा रही है।

उन्होंने बताया कि आतंकवाद के वित्त पोषण के मामले में छापेमारी की जा रही है।एनआईए द्वारा पांच फरवरी 2021 को स्वत: संज्ञान लेकर दर्ज किया गया यह मामला कुछ जेईआई सदस्यों की गतिविधियों से संबंधित है, जो देश-विदेश से दान एवं अन्य कल्याणकारी कामों के लिए चंदा इक_ा कर रहे थे लेकिन कथित तौर पर इस धन का इस्तेमाल हिंसक और अलगाववादी गतिविधियों  के लिए किया जा रहा था।

एनआईए के अनुसार, संगठन द्वारा जुटाई जा रही धनराशि जमात-ए-इस्लामी के सुव्यवस्थित नेटवर्क के माध्यम से हिजबुल मुजाहिदीन और लश्कर-ए-तैयबा जैसे प्रतिबंधित आतंकवादी संगठनों को भी पहुंचाई जा रही थी।

गौरतलब है कि केंद्र सरकार ने आतंकवादी संगठनों से संबंधों और जम्मू-कश्मीर में अलगाववादी गतिविधियों को बढ़ावा देने का हवाला देते हुए फरवरी 2019 में जेईआई पर पांच साल का प्रतिबंध लगा दिया था।

***********************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

20 रुपये के लिए रेलवे के खिलाफ 2 दशक तक लड़ा मुकदमा, आखिरकार हुई जीत!

*रेलवे को एक माह में 20 रुपये पर प्रतिवर्ष 12 प्रतिशत वार्षिक ब्याज लगाकार चुकानी होगी पूरी रकम*

मथुरा (उप्र),08 अगस्त (एजेंसी/FJ)। उत्तर प्रदेश के मथुरा जिले के एक अधिवक्ता ने रेलवे से 20 रुपये के लिए 22 साल से अधिक समय तक लड़ाई लड़कर आखिरकार जीत हासिल कर ली है। अब रेलवे को एक माह में उन्हें 20 रुपये पर प्रतिवर्ष 12 प्रतिशत वार्षिक ब्याज लगाकार पूरी रकम चुकानी होगी। साथ ही, आर्थिक व मानसिक पीड़ा एवं वाद व्यय के रूप में 15 हजार रुपये जुर्माने के रूप देने का निर्देश भी दिया गया है।

जिला उपभोक्ता फोरम ने पांच अगस्त को इस शिकायत का निस्तारण करते हुए अधिवक्ता के पक्ष में फैसला किया। मथुरा के होलीगेट क्षेत्र के निवासी अधिवक्ता तुंगनाथ चतुर्वेदी ने सोमवार को बताया कि 25 दिसंबर 1999 को अपने एक सहयोगी के साथ मुरादाबाद जाने के वास्ते टिकट लेने के लिए वह मथुरा छावनी की टिकट खिड़की पर गए थे।

उस समय टिकट 35 रुपये का था। उन्होंने खिड़की पर मौजूद व्यक्ति को 100 रुपये दिए, जिसने दो टिकट के 70 रुपये की बजाए 90 रुपये काट लिए और कहने पर भी उसने शेष 20 रुपये वापस नहीं किए। चतुर्वेदी ने बताया कि उन्होंने यात्रा सम्पन्न करने के बाद ‘नॉर्थ ईस्ट रेलवे (गोरखपुर) तथा ‘बुकिंग क्लर्क के खिलाफ मथुरा छावनी को पक्षकार बनाते हुए जिला उपभोक्ता फोरम में शिकायत दर्ज कराई। 22 साल से अधिक समय बाद इस मामले का निपटारा हुआ।

उपभोक्ता फोरम के अध्यक्ष नवनीत कुमार ने रेलवे को आदेश दिया कि अधिवक्ता से वसूले गए 20 रुपये पर प्रतिवर्ष 12 प्रतिशत वार्षिक ब्याज लगाकर उसे लौटाया जाए। सुनवाई के दौरान अधिवक्ता को हुई मानसिक, आर्थिक पीड़ा एवं वाद व्यय के रूप में 15 हजार रुपये बतौर जुर्माना अदा किया जाए। उन्होंने यह भी आदेश दिया कि रेलवे द्वारा फैसला सुनाए जाने के दिन से 30 दिन के भीतर यदि धनराशि अदा नहीं की जाती, तो 20 रुपये पर प्रतिवर्ष 12 की बजाय 15 प्रतिशत ब्याज लगाकर उसे लौटाना होगा।

अधिवक्ता तुंगनाथ चतुर्वेदी ने कहा,  रेलवे के ‘बुकिंग क्लर्क (टिकट बुक करने वाले कर्मी) ने उस समय 20 रुपये अधिक वसूले थे।

उसने हाथ से बना टिकट दिया था, क्योंकि तब कंप्यूटर नहीं थे। 22 से अधिक समय तक संघर्ष करने के बाद आखिरकार जीत हासिल की।

**************************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

सेना डिजाइन ब्यूरो ने ड्रोन विकसित करने के लिए डीएफआई के साथ किया समझौता

नयी दिल्ली,08 अगस्त (एजेंसी/FJ)। सेना डिजाइन ब्यूरो (एडीबी) ने सोमवार को भारतीय ड्रोन महासंघ (डीएफआई) के साथ एक सहमति पत्र पर दस्तखत किए, जिसके तहत भारतीय सैनिकों के लिए उच्च क्षमता वाले ड्रोन विकसित किए जाएंगे। डीएफआई एक उद्योग निकाय है, जिसमें एस्टेरिया एयरोस्पेस, क्विडिच इनोवेशन लैब्स, ऑटोमाइक्रो यूएएस, आरव अनमैन्ड सिस्टम्स और इंड्रोन्स इसके सदस्य हैं।

एक बयान के अनुसार इस कार्यक्रम के तहत डीएफआई और एडीबी ‘इंडियन आर्मीज हिम-ड्रोन-ए-थॉन नामक एक कार्यक्रम शुरू करेंगे। भारतीय सेना के संचालन को समर्थन देने के लिए ड्रोन-आधारित समाधानों के विकास के लिए प्रस्ताव आमंत्रित किए जाएंगे। बयान में आगे कहा गया, एडीबी चयनित प्रतिभागियों को परामर्श देगा और क्षेत्र का दौरा कराएगा, ताकि भारतीय उद्योग को जमीनी स्तर पर परिचालन स्थितियों के बारे में पता चल सके।

सहमति पत्र (एमओयू) के तहत डीएफआई और एडीबी मसौदा योजना, अनुसंधान, परीक्षण, विनिर्माण और संबंधित प्रौद्योगिकियों पर सहयोग करेंगे, जिनका उपयोग भारतीय सेना कर सकती है।

डीएफआई के अध्यक्ष स्मित शाह ने कहा कि यह सहयोग ड्रोन उपयोग के नए क्षेत्रों को बढ़ावा देगा।

***********************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

युवा और सांसद नायडू से समाज, देश व लोकतंत्र के बारे में बहुत कुछ सीख सकते हैं : मोदी

*उपराष्ट्रपति एम. वेंकैया नायडू की विदाई*

नयी दिल्ली,08 अगस्त (एजेंसी/FJ)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू को युवाओं व सांसदों के लिए प्रेरणास्रोत करार दिया और कहा कि वे समाज, देश और लोकतंत्र के बारे में उनसे बहुत कुछ सीख सकते हैं। राज्यसभा के सभापति नायडू को उच्च सदन में विदाई देते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि वह देश के एक ऐसे उपराष्ट्रपति हैं, जिन्होंने अपनी सभी भूमिकाओं में हमेशा युवाओं के लिए काम किया और सदन में भी हमेशा युवा सांसदों को आगे बढ़ाया और उन्हें प्रोत्साहन दिया।

उन्होंने कहा, आपने देश के लिए और सदन के लिए जो कुछ किया है, उसका ऋण स्वीकार करते हुए आपको भविष्य के लिए बहुत शुभकामनाएं देता हूं। प्रधानमंत्री ने नायडू के कार्यकाल की सराहना करते हुए कहा कि इस अवधि में सदन के कामकाज में वृद्धि हुई। उन्होंने नायडू के बारे में कहा, इस सदन को नेतृत्व देने की जिम्मेदारी भले ही पूरी हो रही हो लेकिन उनके अनुभव का लाभ भविष्य में देश को मिलता रहेगा, साथ ही हम जैसे अनेक सार्वजनिक जीवन के कार्यकर्ताओं को भी मिलता रहेगा।

प्रधानमंत्री ने कहा कि आजादी के अमृत महोत्सव में आज देश अपने अगले 25 वर्षों की नई यात्रा शुरू कर रहा है, तब देश का नेतृत्व भी एक नए युग के हाथों में है। उन्होंने कहा, इस बार हम एक ऐसा 15 अगस्त मना रहे हैं, जब देश के राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, लोकसभा अध्यक्ष सब के सब लोग आजाद भारत में पैदा हुए हैं और सब के सब साधारण पृष्ठभूमि से आते हैं। मैं समझता हूं कि इसका एक महत्व है।
मोदी ने कहा कि नायडू ने उपराष्ट्रपति और सदन के सभापति के रूप में गरिमा और निष्ठा के साथ अपने दायित्व का निर्वाह किया और अलग-अलग जिम्मेदारियों में बड़ी लगन से काम किया।

उन्होंने कहा, आपने कभी भी किसी काम को बोझ नहीं माना। आपने हर काम में नए प्राण फूंकने का प्रयास किया है। मोदी ने कहा कि नायडू देश के एक ऐसे उपराष्ट्रपति है, जिन्होंने अपनी सभी भूमिकाओं में हमेशा युवाओं के लिए काम किया है। उन्होंने कहा, आपका ये जज्बा और लगन हम लोगों ने निरंतर देखी है।

मैं प्रत्येक माननीय सांसद और देश के हर युवा से कहना चाहूंगा कि वे समाज, देश और लोकतंत्र के बारे में आपसे बहुत कुछ सीख सकते हैं।

************************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

त्यागी के मामले में बुलडोजर की कार्रवाई दिखावा, कौन उसे बचाता रहा : प्रियंका

नईदिल्ली,08 अगस्त (एजेंसी /FJ)। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने नोएडा में एक महिला से अभद्रता के आरोपी श्रीकांत त्यागी की भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के कई नेताओं के साथ ली गई तस्वीरें साझा करते हुए सोमवार को कहा कि इस मामले में बुलडोजर की कार्रवाई दिखावा है।

उन्होंने यह सवाल भी किया कि आखिर त्यागी को कौन बचाता आया है और क्या भाजपा सरकार को नहीं पता था कि उसने अवैध निर्माण करा रखे हैं?

कांग्रेस की उत्तर प्रदेश प्रभारी प्रियंका ने ट्वीट किया, क्या इतने वर्षों से भाजपा सरकार को नहीं पता था कि नोएडा के भाजपा नेता का निर्माण अवैध है? बुलडोजर की कार्रवाई दिखावा है।

उन्होंने आरोप लगाया, सरकार इन सवालों के जवाब देने से बच रही है। एक महिला के साथ खुलेआम अभद्रता और 10-15 गुंडे भेजकर महिलाओं को धमकाने की हिम्मत उसे कौन दे रहा है? कौन है जो उसे बचाता आ रहा है?

प्रियंका ने सवाल किया, किसके सरंक्षण में उसका गुंडाराज और अवैध कारोबार फला-फूला?

भाजपा का नेता होने का दावा करने वाले त्यागी के खिलाफ ग्रैंड ओमैक्स सोसाइटी की एक महिला के साथ अभद्रता करने के आरोप में मामला दर्ज किया गया है।

बताया जा रहा है कि महिला ने त्यागी द्वारा सोसायटी के साझा क्षेत्र में पौधे लगाने पर आपत्ति जताई थी, जिससे वह भड़क उठा था।

नोएडा प्राधिकरण ने शहर में त्यागी के आवास के बाहर बनाए गए ‘अवैध’ निर्माण को ढहा दिया है। त्यागी अभी फरार है।

**************************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

पाकिस्तानी नागरिक की 13 संपत्तियों की जानकारी ईडी ने मांगी

कानपुर ,07 अगस्त (आरएनएस/FJ)। पाकिस्तानी नागरिक शाहिद हलीम की 13 संपत्तियों से जुड़ी संपूर्ण जानकारी अब ईडी को भी दी जाएगी। जिला प्रशासन ने इस संबंध में निर्णय ले लिया है। संपत्तियों से जुड़ी जानकारी देने के लिए जिलाधिकारी विशाख जी ने अपर महानगर मजिस्ट्रेट द्वितीय को जिम्मेदारी सौंपी है।

बता दे कि ईडी पिछले 13 वर्षों से पाकिस्तानी नागरिक की संपत्तियों से जुड़ी जानकारी मांग रहा है। शहर में शाहिद हलीम की 13 संपत्तियां हैं, जिन्हें शत्रु संपत्ति घोषित करने की कवायद चल रही है। इनमें नागेश्वर विला, कॉनकार्ड अपार्टमेंट शाहिद हलीम के पाक जाने के बाद इन संपत्तियों की अवैध तरीके से खरीद फरोख्त की गई।

लोगों को जानकारी दिए बिना ही संपत्तियां बेची गईं।

*****************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

स्वेच्छा से हर जन फहराये खादी का तिरंगा : अखिलेश

*आजादी के यज्ञ में समाजवादी नेताओं के योगदान को भुला दिया*

लखनऊ ,07 अगस्त (आरएनएस)। सपा प्रमुख व पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने राष्ट्रीय ध्वज को राष्ट्रीय गौरव का प्रतीक बताते हुए स्वेच्छा से प्रत्येक नागरिक से खादी का बना तिरंगा फहराने के लिए कहा है। रविवार को जारी बयान में अखिलेश ने कहा कि इतिहास में इन तिथियों का विशेष महत्व है। आगे कहा कि 8 अगस्त 1942 की रात में बंबई के ग्वालियर टैंक मैदान में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी ने अंग्रेजो भारत छोड़ो के प्रस्ताव के साथ करो या मरो का मंत्र दिया था।

गांधी जी ने कहा था या तो अब हम आजाद होंगे या फिर अपना बलिदान दे देंगे। अंग्रेजों ने क्रूर दमनचक्र चलाते हुए 9 अगस्त 1942 से गिरफ्तारियां शुरू कर दी थी। अंग्रेज सोचते थे कि वे दमन से आजादी की आवाज को दबा देंगे। लेकिन पहले से सतर्क समाजवादी नेताओं ने आंदोलन की कमान अपने हाथ में लेकर आंदोलन को देशव्यापी बना दिया। जयप्रकाश नारायण, डॉ.राममनोहर लोहिया, और अरूणा आसफ अली के साथ ऊषा मेहता आदि ने आजादी के लिए जो अलख जगाई उसके फलस्वरूप ही 15 अगस्त 1947 को देश को आजादी मिल सकी।

अखिलेश ने कहा कि आजादी के इस महान यज्ञ में स्वतंत्रता सेनानियों के योगदान की उपेक्षा की जा रही है। खेद की बात है कि इतिहास को विशेष दृष्टिकोण से बदलने की साजिशें हो रही है। कहा कि आजादी के 75वें वर्ष में देश और प्रदेश की राजनीति में बहुत उतार-चढ़ाव आया हैं। सत्ता में आई भाजपा ने स्वतंत्रता आंदोलन के मूल्यों और आदर्शों को भुला दिया है। गांधी जी राजनीति को जनसेवा का माध्यम मानते थे।

इसकी शुचिता के लिए साध्य साधन की पवित्रता पर जोर देते थे। आज की राजनीति सत्ता पाने और सत्ता का उपभोग करने का माध्यम बन गई है। इसलिए भाजपा की चालबाजी से हमें सावधान रहना होगा। सपा प्रमुख ने कहा कि हमारी पार्टी महात्मा गांधी, डॉ. राममनोहर लोहिया और डॉ. आंबेडकर के आदर्श मानकों को अपनाते हुए गांव-गरीब को प्राथमिकता में रखकर चल रही है। अन्याय और शोषण के खिलाफ आवाज उठा रही है।

समाजवादी पार्टी ने सत्ता में रहते हुए जनकल्याण को सर्वोपरि रखकर योजनाओं को साकार किया। आज भी वह समाजवाद, लोकतंत्र और पंथनिरपेक्षता के लिए प्रतिबद्ध है और संविधान की उद्देशिका को सम्मान देती है। राष्ट्रीय ध्वज को फहराने के साथ हमें उन संकल्पों को भी दुहराना होगा जिनको सार्थक करने के लिए लाखों लोगों ने अपना सब कुछ बलिदान कर दिया था।

*****************************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

जिन्होंने कभी नहीं लिया आजादी में हिस्सा वो पीट रहे हैं ढिंढोरा: अखिलेश यादव

लखनऊ ,07 अगस्त (आरएनएस/FJ)। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के आव्हान पर उत्तर प्रदेश में हर घर पर राष्ट्रीय ध्वज फहराया जाएगा। उन्होंने राष्ट्रीय ध्वज को राष्ट्रीय गौरव का प्रतीक बताते हुए स्वेच्छा से प्रत्येक नागरिक से खादी का बना तिरंगा फहराने के लिए कहा है।

अखिलेश यादव ने कहा है कि इतिहास में इन तिथियों का विशेष महत्व है। 8 अगस्त 1942 की रात में बंबई के ग्वालियर टैंक मैदान में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी जी ने ‘अंग्रेजो भारत छोड़ों’ के प्रस्ताव के साथ ‘करो या मरो’ का मंत्र दिया था। गांधी जी ने कहा था या तो अब हम आजाद होंगे या फिर अपना बलिदान दे देंगे। अंग्रेजों ने क्रूर दमनचक्र चलाते हुए 9 अगस्त 1942 से गिरफ्तारियां शुरू कर दी थी।

अंग्रेज सोचते थे कि वे दमन से आजादी की आवाज को दबा देंगे। लेकिन पहले से सतर्क समाजवादी नेताओं ने आंदोलन की कमान अपने हाथ में लेकर आंदोलन को देशव्यापी बना दिया। जयप्रकाश नारायण, डॉ0 राममनोहर लोहिया, और अरूणा आसफ अली के साथ ऊषा मेहता आदि ने आजादी के लिए जो अलख जगाई उसके फलस्वरूप ही 15 अगस्त 1947 को देश को आजादी मिल सकी।

आजादी के इस महान यज्ञ में स्वतंत्रता सेनानियों के योगदान की उपेक्षा की जा रही है। खेद की बात है कि इतिहास को विशेष दृष्टिकोण से बदलने की साजिशें हो रही है। वे लोग जिनका संबंध आरएसएस से रहा तथा जिन्होंने कभी स्वतंत्रता आंदोलन में हिस्सा भी नहीं लिया, आज आजादी के 75वें साल में आजादी का अमृत महोत्सव का ढिंढोरा पीट रहे है। आजादी के 75वें वर्ष में देश और प्रदेश की राजनीति में बहुत उतार-चढ़ाव आया हैं।

सत्ता में आई भाजपा ने स्वतंत्रता आंदोलन के मूल्यों एवं आदर्शों को भुला दिया है। गांधी जी राजनीति को जनसेवा का माध्यम मानते थे। इसकी शुचिता के लिए साध्य साधन की पवित्रता पर जोर देते थे। आज की राजनीति सत्ता पाने और सत्ता का उपभोग करने का माध्यम बन गई है। इसलिए भाजपा की चालबाजी से हमें सावधान रहना होगा। यह अवसर भारतीय संविधान एवं लोकतांत्रिक व्यवस्था को बचाने का भी है।

समाजवादी पार्टी गांधी जी, डॉ0 राममनोहर लोहिया और डॉ0 अम्बेडकर के निर्धारित आदर्श मानकों को अपनाते हुए गांव-गरीब को प्राथमिकता में रखकर चल रही है। अन्याय और शोषण के खिलाफ आवाज उठा रही है। समाजवादी पार्टी ने सत्ता में रहते हुए जनकल्याण को सर्वोपरि रखकर योजनाओं को साकार किया।

आज भी वह समाजवाद, लोकतंत्र और पंथनिरपेक्षता के लिए प्रतिबद्ध है और संविधान की उद्देशिका को सम्मान देती है। राष्ट्रीय ध्वज को फहराने के साथ हमें उन संकल्पों को भी दुहराना होगा जिनको सार्थक करने के लिए लाखों लोगों ने अपना सब कुछ बलिदान कर दिया था।

हजारों लोगों ने जेल की क्रूर यातनाएं झेली थी और कितने ही वीर सपूत हंसते-हंसते फांसी के फंदे पर झूल गए थे।

**********************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

रांची प्रेस क्लब में हुई गोष्ठी:असमिया कवयित्री-गायिका कविता कर्मकार ने जमाए रंग

रांची प्रेस क्लब में हुई गोष्ठी:
रांची,07.08.2022 (FJ) | इतना कोमल और मोहमय है, हमारा प्रेम, जैसे अभी-अभी हमारी उंगलियों के बीच उगी है हरी-हरी दूब या कभी चिलचिलाती धूप में किसी पेड़ के नीचे आकर बैठोगे तो जानोगे कि किसी के लिए पेड़ बन जाना क्या है। ये छोटी पर प्रभावी कविता पंक्तियां असमिया कवयित्री कविता कर्मकार की हैं। जिसका पाठ उन्होंने आज रांची प्रेस क्लब की लाइब्ररी में किया।

संवाद शीर्षक के तेहत इसका आयोजन क्लब ने पत्रकार कला मंच के साथ मिलकर किया था। जिसमें कविता ने बताया कि उनके पुरखे झारखंड से ही बरसों पहले आसाम गए थे। यहां आना उनका अपनी जड़ों की एहसास कराता है।
उन्होंने कविता लिखने के कारण और अपने संघर्ष की कथा भी साझा की। इसके अलावा लीजेंड शख्सियत भूपेन हजारिका के कइ गीत को अपने मधुर स्वरों में सजाया। वहीं अपने असमिया गीत सुनाए, जिसमें विस्थापन का दर्द था। राधा और कृष्ण के प्रेम-अनुराग ने भी उनकी मीठी आवाज में श्रोताओं को सुकून बख्शा।

कुछ क्लासिकल फिल्मी गीत भी उनके कंठ के हार बने। कविता की दर्जनों किताबें छप चुकी हैं। जिसमें उनके अपने काव्य संग्रह के अतिरिक्त अनुवाद की अनगिनत किताबें हैं, जो साहित्य अकादमी और नेशनल बुक ट्रस्ट से प्रकाशित हुई हैं। उनकी रचनाओं का अनुवाद देश-विदेश की कई भाषाओं में हो चुका है।

संगोष्ठी में सेंट जेवियर्स कॉलेज में हिंदी के प्रोफेसर डॉ केके बोस ने कविता की प्रशंसा करते हुए समाज के सकारात्मक पहलुओं को भी जगह देनी चाहिए। जबकि किरण का कहना था कि कविता की कविताओं का फलक बहुत बड़ा है। कार्यक्रम का संचालन करते हुए दी न्यूज पोस्ट के संपादक शहरोज क़मर ने असमिया साहित्य के इतिहास से रुबरू कराया।

मौके पर शालिनी नायक सहबा ने भी अपनी दो गजलें सुनाईं। आभार ज्ञापन पत्रकार कला मंच के सचिव संदीप नाग ने किया।

गोष्ठी में प्रेस क्लब के महासचिव जावेद अख्तर, क्लब के पूर्व अध्यक्ष राजेश सिंह, मंच के सत्यप्रकाश पाठक, एस मृदुला, नृत्यांगना संध्या चौधरी, गीतकार सदानंद सिंह, कवि-लेखक राजीव थेपड़ा, पत्रकार नवीन कुमार मिश्रा, निलय सिंह, असगर खान, विवेक आर्यन, कुबेर सिंह, रंगकर्मी ऋषिकेश, जयदीप सहाय, अरुण नायक, देशदीप, अनिल सिन्हा समेत कई कला-साहित्य प्रेमियों ने महफिल का आनंद उठाया।

**************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

देश की सबसे बड़ी वैज्ञानिक संस्था को मिली पहली महिला डीजी

नई दिल्ली ,07 अगस्त (आरएनएस/FJ)।  वरिष्ठ वैज्ञानिक नल्लाथम्बी कलाइसेल्वी वैज्ञानिक एवं औद्योगिक अनुसंधान परिषद (सीएसआईआर) की पहली महिला महानिदेशक बन गई हैं।  सीएसआईआर देशभर के 38 अनुसंधान संस्थानों का एक संघ है। कार्मिक मंत्रालय के जारी एक आदेश के अनुसार, वह शेखर मांडे का स्थान लेंगी, जो अप्रैल में सेवानिवृत्त हो गए।

मांडे के सेवानिवृत्त होने के बाद जैवप्रौद्योगिकी विभाग के सचिव राजेश गोखले को सीएसआईआर का अतिरिक्त प्रभार दिया गया था।

लिथियम आयन बैटरी के क्षेत्र में अपने काम से ख्याति पाने वाली कलाइसेल्वी अभी तमिलनाडु के करईकुडी में सीएसआईआर-केंद्रीय विद्युत रासायनिक अनुसंधान संस्थान (सीईसीआरआई) की निदेशक हैं। कलाइसेल्वी वैज्ञानिक और औद्योगिक अनुसंधान विभाग की सचिव का प्रभार भी संभालेंगी।

उनकी नियुक्ति दो साल की अवधि के लिए है।

कलाइसेल्वी ने सीएसआईआर में अपनी नौकरी की शुरुआत करते हुए संस्थान में अच्छी-खासी साख बनाई और फरवरी 2019 में सीएसआईआर-सीईसीआरआई का नेतृत्व करने वाली पहली महिला बनीं। उन्होंने इसी संस्थान में प्रवेश स्तर के वैज्ञानिक के तौर पर अनुसंधान में अपना करियर शुरू किया था।

तमिलनाडु में तिरुनेलवेली जिले के छोटे-से शहर अंबासमुद्रम की रहने वाली कलाइसेल्वी ने तमिल माध्यम से स्कूली शिक्षा प्राप्त की। उनका कहना है कि इससे उन्हें कॉलेज में विज्ञान की अवधारणाओं को समझने में मदद मिली।

कलाइसेल्वी का 25 साल से ज्यादा का अनुसंधान कार्य मुख्यत: विद्युत रासायनिक ऊर्जा प्रणाली, खासतौर से इलेक्ट्रोड के विकास पर केंद्रित रहा है। वह अभी सोडियम-आयन/लिथियम-सल्फर बैटरी और सुपरकैपेसिटर के विकास पर काम कर रही हैं।

कलाइसेल्वी ने नेशनल मिशन फॉर इलेक्ट्रिक मोबिलिटी में अहम योगदान भी दिए हैं। उनके नाम पर 125 से अधिक शोध पत्र और छह पेटेंट हैं।

**************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

स्वतंत्रता दिवस से पहले दिल्ली में एनआईए की रेड

आईएसआईएस मॉड्यूल का एक्टिव मेंबर गिरफ्तार

नई दिल्ली 07 Aug. (Rns/FJ): स्वतंत्रता दिवस से पहले दिल्ली में एनआईए ने तलाशी अभियान चलाया है। इस दौरान आईएसआईएस मॉड्यूल का भंडाफोड़ करते हुए एक आरोपी को गिरफ्तार किया गया। आरोपी की पहचान नई दिल्ली के बाटला हाउस निवासी मोहसिन अहमद के रूप में हुई है।

एनआईए द्वारा 25 जून को आईपीसी की धारा 153ए, और 153बी और यूए (पी) अधिनियम की धारा 18, 18बी, 38, 39 और 40 के तहत मामला दर्ज किया गया था। सूत्र ने कहा, गिरफ्तार आरोपी प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन आईएसआईएस का कट्टर और सक्रिय सदस्य है।

उसे गिरफ्तार कर लिया गया है। एनआईए को मिली जानकारी में ये भी पता चला है की यह संदिग्ध न सिर्फ पूरी तरह रेडिक्लाइज है बल्कि इस संगठन का सक्रिय सदस्य भी है। आरोपी मोहसिन अहमद पुत्र मोहम्मद शकील अहमद के ठिकानों पर तलाशी ली गई है।

**********************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

 

नीति आयोग शासी निकाय की बैठक में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन शामिल हुए

नीति आयोग:- रांची/नई दिल्ली, 07.08.2022 (FJ)-  सिंचाई सुविधाओं की कमी के कारण हर तीन-चार साल पर राज्य को सुखाड़ का दंश झेलना पड़ता है। इस वर्ष भी अभी तक सामान्य से 50 प्रतिशत कम वर्षा हुई है एवं 20 प्रतिशत से भी कम जमीन पर धान की रोपनी हो पाई है। वर्त्तमान परिस्थिति में झारखण्ड सुखाड़ की ओर बढ़ रहा है। मैं केंद्र सरकार से आग्रह करता हूं कि झारखण्ड राज्य के लिए विशेष पैकेज स्वीकृत किया जाए, जिससे की सुखाड़ से निबटा जा सके। ये बातें मुख्यमंत्री श्री हेमन्त सोरेन ने कही। मुख्यमंत्री नई दिल्ली में नीति आयोग के शासी निकाय की बैठक में बोल रहे थे। मुख्यमंत्री ने कहा विगत दो वर्षों से कोविड- 19 जैसी महामारी के फलस्वरूप झारखण्ड जैसे पिछड़े राज्य के आर्थिक एवं सामाजिक विकास पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा है इस कुप्रभाव को न्यूनतम करने के लिए राज्य सरकार अथक प्रयास कर रही है और बेहतर परिणाम भी मिल रहे हैं। विगत ढाई वर्षों में झारखण्ड ने आर्थिक, सामाजिक विकास एवं सामाजिक न्याय के क्षेत्र में विभिन्न कदम उठाये हैं। प्रदेश की मूलभूत सरंचना को मजबूत बनाने की दिशा में कार्य किया जा रहा है। इस आयाम को और अधिक बल देने हेतु केन्द्र सरकार का सहयोग सभी राज्यों, विशेष कर झारखण्ड जैसे पिछड़े एवं आदिवासी बाहुल्य राज्य को प्राप्त हो।

PM chairing the 7th Governing Council Meeting of NITI Aayog, in New Delhi on August 07, 2022.

 केसीसी हेतु बैंकों को निर्देश दे नीति आयोग

मुख्यमंत्री ने कहा कि 2019 तक 38 लाख किसानों में से मात्र 13 लाख किसानों को KCC मिल पाया था। पिछले 2 सालों में सरकार के अथक प्रयास से 5 लाख नए किसानों को KCC का लाभ प्राप्त हुआ है परन्तु अभी भी 10 लाख से अधिक आवेदन विभिन्न बैंकों में लंबित हैं। राज्य सरकार नीति आयोग से सभी बैंको को KCC की स्वीकृति हेतु आवश्यक निर्देश देने का आग्रह करती है। झारखण्ड में फसलों में विविधता लाने की दिशा में अभी तक कोई विशेष कार्य योजना पर कार्य नहीं हुआ है। कारण किसानों का सब्सिस्टेंस खेती पर केंद्रित होना। हमने धान अधिप्राप्ति को 2 वर्ष में 4 से 8 लाख टन तक पहुँचाया है परंतु अभी भी इस क्षेत्र में आगे बढ़ने के लिए केंद्र सरकार और FCI के विशेष सहयोग की आवश्यकता है।

 सिंचाई की सुविधा हेतु विशेष पैकेज स्वीकृत किया जाए

मुख्यमंत्री ने बताया कि राज्य में सिंचाई की सुविधाओं का घोर अभाव है एवं मात्र 20 प्रतिशत भूमि पर ही सिंचाई की सुविधा उपलब्ध है। राज्य में 5 लाख हेक्टेयर खरीफ की भूमि अपलैंड की श्रेणी में आती है जिस पर फसलों में विविधता लाई जा सकती है बशर्ते कि सिंचाई की सुविधा उपलब्ध कराई जा सके। राज्य में दलहन एवं तिलहन के उत्पादन की असीम संभावना है। झारखण्ड राज्य में लघु सिंचाई परियोजनाओं के माध्यम से सिंचाई की सुविधा को बढ़ाने हेतु एक विशेष पैकेज स्वीकृत किया जाए। बागवानी के क्षेत्र में विस्तार के लिए बिरसा हरित ग्राम योजना लागू की है। इस योजना के क्रियान्वयन से जहाँ राज्य के गरीब किसान परिवारों को आजीविका का स्थायी अवसर दिया जा रहा है वहीं एक बड़े क्षेत्रफल में परती टांड भूमि का बेहतर प्रबंधन व उपयोग सुनिश्चित किया जा रहा है। इस योजना के अंतर्गत अब तक लगभग 60,000 एकड़ टांड भूमि में आम एवं मिश्रित बागवानी सफलतापूर्वक की जा चुकी है। इस वित्तीय वर्ष में 25,000 एकड़ में बागवानी की प्रारम्भिक गतिविधियों को कराया जा रहा है। इससे किसानों को प्रति एकड़ प्रति वर्ष औसतन 25,000/- से 30,000/- रुपये की अतिरिक्त आमदनी प्राप्त हो रही है।

शिक्षा के नये द्वार खोलने का हो रहा प्रयास

मुख्यमंत्री ने कहा झारखण्ड एक आदिवासी बाहुल्य राज्य है तथा आदिवासियों के लिए उच्च शिक्षा के नये द्वार खोलने हेतु पहला पंडित रघुनाथ मुर्मू जनजातीय विश्वविद्यालय स्थापित करने की स्वीकृति झारखण्ड विधानसभा द्वारा प्रदान कर दी गयी है। इसके अतिरिक्त राज्य में कौशल विश्वविद्यालय की स्थापना भी प्रक्रियाधीन है जो राज्य में व्यवसायिक उच्च शिक्षा के नए आयाम लिखेगा। राज्य में उच्च शिक्षा प्राप्त करने के लिए छात्रों को कम ब्याज दर पर ऋण प्रदान करने के लिए शीघ्र ही गुरूजी क्रेडिट कार्ड योजना लागू की जायेगी। इससे 2 से 3 लाख छात्रों को फायदा होगा। राज्य सरकार द्वारा विगत वर्ष एक महत्वाकांक्षी योजना प्रारंभ की गई है, जिसके अन्तर्गत जिला स्तर पर 80 उत्कृष्ट विद्यालय, प्रखण्ड स्तर पर 325 आदर्श विद्यालय तथा पंचायत स्तर पर 4036 विद्यालयों को आदर्श विद्यालय के रूप में विकसित करने की योजना तैयार की गई है। इन विद्यालयों में आधुनिक भवन, स्मार्ट क्लास, आई.सी.टी. लैब, गणित, विज्ञान एवं भाषा लैब तथा आधुनिक पुस्तकालय की व्यवस्था रहेगी। इसके अतिरिक्त व्यवसायिक पाठ्यक्रम, स्पोकेन इंगलिश कोर्स की भी व्यवस्था रहेगी जिससे लगभग 15 लाख विद्यार्थियों का सर्वांगीण विकास होगा।

 उत्खनन से प्राप्त आय का अधिक हिस्सा झारखण्ड को प्राप्त होना चाहिए

मुख्यमंत्री ने कहा झारखण्ड का गठन ही जल जंगल और जमीन की रक्षा के लिए हुआ है । परन्तु यहाँ जितनी भी कंपनियाँ खनन एवं उद्योग लगाने आई। उन सभी ने बस यहां जल, जंगल और जमीन का दोहन किया है। किसी भी खनन कंपनी द्वारा माईनिंग करके जमीन को रिक्लेम करने का प्रयास नहीं हुआ है। कभी भी विस्थापितों की समस्या को दूर करने का सही से प्रयास नहीं हुआ। झारखण्ड के खनिज एवं वन संपदाओं का देश के विकास में इसका महत्वपूर्ण योगदान रहा है परन्तु झारखण्ड के आदिवासी और मूलवासी ने हमेशा अपने को ठगा हुआ महसूस किया। मुझे लगता है कि खनिज संपदा के उत्खनन से प्राप्त आय का अधीकाधीक हिस्सा झारखण्ड जैसे राज्य को प्राप्त होना चाहिए परन्तु पिछले कुछ वर्षों में जो नीतिगत परिवर्तन हुए हैं वो ठीक इसके विपरित साबित हुए हैं। उदाहरण के लिए GST लागु होने से झारखण्ड को काफी घाटा हुआ है परन्तु उसकी भरपाई करने का प्रयास समुचित तरीके से नहीं किया गया है। झारखण्ड राज्य में विभिन्न खनन कंपनियों की भू अर्जन, रॉयल्टी इत्यादि मद में करीब एक लाख छत्तीस हज़ार करोड़ रुपये बकाया है परन्तु खनन कंपनियों इसके भुगतान में कोई रुचि नहीं दिखा रही है। हम लोगों ने विभिन्न बैठकों में इस विषय को उठाया है तथा इस संबंध में पत्राचार भी किया है परन्तु हमारे सभी प्रयासों का फलाफल अभी तक शून्य रहा है। झारखण्ड को ये बकाया राशि का भुगतान कराने का निर्देश इन खनन कंपनियों को केंद्र सरकार दे, जिससे कि राज्य के लोगों के सर्वांगीण विकास में इस राशि का उपयोग किया जा सके।

आदिवासी एवं पिछड़े वर्ग के हितों का रखें ध्यान

मुख्यमंत्री ने कहा झारखण्ड का करीब 30 प्रतिशत एरिया वन भूमि से आच्छादित है एवं अधिकांश खनिज संपदा वन क्षेत्र में अवस्थित है, जिसके लिए वन भूमि अपयोजन की आवश्यकता होती है। अभी हाल के दिनों में वन संरक्षण अधिनियम, 1980 के अन्तर्गत नई नियमावली बनाई गई है जिसमें वन भूमि अपयोजन के लिए स्टेज 2 क्लीयरेंस के पूर्व ग्राम सभा की सहमति के प्रावधान को समाप्त कर दिया गया है जो मेरे विचार से आदिवासी एवं पिछड़े वर्ग के हितों के प्रतिकूल है। झारखण्ड में विभिन्न कंपनियों के भू-अर्जन, रॉयल्टी आदि मद में करीब 1 लाख 36 हजार करोड़ रुपये बकाया है परंतु कम्पनियां इसके भुगतान में कोई दिलचस्पी नहीं दिखा रही है। इस बाबत कई प्रयास किये गए जिनका फलाफल शून्य रहा।   मैं माननीय प्रधानमंत्री जी एवं नीति आयोग से इस निर्णय पर पुनर्विचार करने का भी आग्रह करना चाहूँगा ।

*************************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

नोएडा हाईराइज हंगामा: आरोपी नेता फरार

पुलिस ने 4 को हिरासत में लिया, 3 कार जब्त

नोएडा 07 Aug. (Rns/FJ) । नोएडा हाईराइज हंगामा: भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के स्वघोषित नेता श्रीकांत त्यागी को पकड़ने के लिए तलाशी अभियान चल रहा है, जिन्होंने नोएडा की एक सोसायटी में पौधे लगाने के लिए हुए झगड़े में कथित तौर पर एक महिला का अपमान किया था। भाजपा ने त्यागी से यह कहते हुए दूरी बना ली है कि वह कभी पार्टी का हिस्सा नहीं थे। हालांकि त्यागी के सोशल मीडिया अकाउंट कुछ और ही कहानी बयां करते हैं।

अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर, त्यागी खुद को एक समर्पित पार्टी नेता के रूप में प्रस्तुत करते हैं, जिसमें भगवा पार्टी के कई वरिष्ठ पदाधिकारियों के साथ तस्वीरें हैं। उन्होंने कई संपादित तस्वीरें भी पोस्ट कीं, जिनमें भाजपा का लोगो था। हालांकि, त्यागी ने घटना के कुछ घंटे बाद अपना ट्विटर अकाउंट लॉक कर दिया।

नोएडा पुलिस के एक अधिकारी ने बताया, “हमने कुल तीन कारें जब्त की हैं- एक टोयोटा फॉर्च्यूनर, एक टाटा सफारी और एक होंडा सिविक- जो त्यागी की हैं।”

पुलिस ने उसकी लोकेशन ट्रेस करने के लिए त्यागी की पत्नी समेत चार लोगों को हिरासत में लिया है।

अधिकारी ने कहा, “हमने चार टीमों का गठन किया है जो आरोपी को पकड़ने के लिए काम कर रही है। हमने उसकी पत्नी को भी पूछताछ के लिए हिरासत में लिया है।”

पुलिस ने त्यागी की पत्नी के अलावा उनके भाई, ड्राइवर और मैनेजर को हिरासत में लिया है। अधिकारी ने बताया, “उन सभी से फिलहाल पूछताछ की जा रही है।”

मामला शुक्रवार को तब सामने आया, जब घटना की कई वीडियो क्लिपिंग सोशल मीडिया पर वायरल हो गई थीं, जिसमें त्यागी को महिला को गालियां देते हुए सुना जा सकता है। सोशल मीडिया यूजर्स ने पीड़ित महिला की प्रतिक्रिया को भी साझा किया, जिसमें उन्होंने पूरी घटना के बारे में बताया है।

महिला ने कहा, “मैं ग्रैंड ओमेक्स (सोसायटी) में रहती हूं। भूतल पर रहने वाला श्रीकांत त्यागी नाम का एक आदमी कॉमन एरिया में छोटे-बड़े पौधे लगाकर अतिक्रमण कर रहा था। जब मैंने उसे हटाने के लिए कहा, तो उसने मना कर दिया और जब मैंने उन्हें हटाने की कोशिश की तो उसने मुझे, मेरे पति और मेरे बच्चों को गालियां दीं।”

इसी वीडियो में सोसायटी के निवासी त्यागी पर छोटे-बड़े पौधे लगाकर क्षेत्र में अतिक्रमण करने का आरोप लगाते हुए भी देखे जा सकते हैं।

घटना के एक वीडियो के अनुसार,त्यागी को महिला को धक्का देते और धमकाते हुए देखा जा सकता है। वीडियो में उन्हें यह कहते हुए सुना जा सकता है, “मेरे पौधों को छूने की हिम्मत मत करो, नहीं तो मैं तुम्हें देख लूंगा..।”

अतिरिक्त पुलिस उपायुक्त अंकिता शर्मा ने बताया कि वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के तुरंत बाद, नोएडा पुलिस ने पंचशील पुलिस स्टेशन में आईपीसी की धारा 354 के तहत प्राथमिकी दर्ज की।

अधिकारी ने आश्वासन दिया कि आरोपी को जल्द ही गिरफ्तार कर लिया जाएगा और उसके खिलाफ दंडात्मक कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

इस बीच, राष्ट्रीय महिला आयोग (एनसीडब्ल्यू) ने शनिवार को घटना का संज्ञान लिया और इस मामले में उत्तर प्रदेश के डीजीपी को पत्र लिखा। एनसीडब्ल्यू की चेयरपर्सन रेखा शर्मा ने पुलिस से पीड़िता को जरूरी सुरक्षा मुहैया कराने को कहा है।

********************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

5 घंटे की सर्जरी के बाद युवक की आवाज वापस आई

लखनऊ 07 Aug. (एजेंसी/FJ)। उत्तर प्रदेश के सीतापुर जिले में 28 वर्षीय एक युवक की आवाज एक हादसे के चलते बंद होने के बाद डॉक्टरों ने उसकी 5 घंटे तक सर्जरी की। सर्जरी के 10 दिनों के भीतर उसकी आवाज वापस आ गई, जिसकी किसी को उम्मीद नहीं थी।

27 जुलाई को एक दुर्घटना में युवक की अन्नप्रणाली, श्वासनली और वोकल कॉर्ड कट गया था। उसे लखनऊ के किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी ले जाया गया, जहां सर्जनों ने पांच घंटे लंबी सटीक सर्जरी की। कटे हुए हिस्सों की मरम्मत की और उनकी स्वर-झिल्ली (वोकल कॉर्ड) को ठीक किया।

हालांकि डॉक्टरों का मानना था कि युवक की आवाज वापस आने की संभावना बेहद कम है, लेकिन आवाज वापस आने पर सभी ने खुशी जताई।

थोरैसिक सर्जरी विभाग के प्रमुख डॉ. शैलेंद्र यादव के अनुसार, यह मामला दुर्लभ नहीं था, लेकिन इस तरह का मामला, जहां एक व्यक्ति अन्नप्रणाली और श्वासनली कटे होने के बावजूद जीवित रहा, ऐसा कभी नहीं सुना गया।

बाइक चलाते समय सड़क के बीच में आए एक जानवर को बचाने में बाइक एक खेत के कंटीले तार वाले बाड़ से टकरा गई, जिस वजह से युवक के गले की यह हालत हुई।

यादवेंद्र ने कहा, “हमें यकीन नहीं था कि यह युवक भविष्य में बोलेगा, लेकिन सौभाग्य से उसकी आवाज भी लौट आई है।”

केजीएमयू के कुलपति लेफ्टिनेंट जनरल प्रोफेसर बिपिन पुरी ने टीम को बधाई दी है।

**********************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

पूजा गहलोत ने जीता ब्रॉन्ज मेडल

बर्मिंघम, 07 अगस्त (एजेंसी)। भारत की पूजा गहलोत ने महिलाओं की 50 किग्रा फ्रीस्टाइल में स्कॉटलैंड की क्रिस्टेल को 12-2 से हराकर कांस्य पदक जीता। कुश्ती में यह भारत का दूसरा कांस्य पदक है। भारत अब तक कुश्ती में कुल 10 पदक, तीन स्वर्ण, एक रजत और तीन कांस्य पदक जीत चुका है।

भारत की पूजा गहलोत की मैच की शुरुआत खराब रही। स्कॉटलैंड के क्रिस्टेल ने पहले दौर में 2-0 की बढ़त बना ली। लेकिन तभी गहलोत ने क्रिस्टेल के खिलाफ गुटलेज की पारी खेली। उसने स्कॉटिश खिलाड़ी की टांगों पर अपनी पकड़ मजबूत करते हुए अपना गोल-गोल घुमाया।

पूजा ने अपने खाते में 10 अंक बनाए और ख्रीस्तल के खिलाफ 5 गोल किए। पहले दौर में 10 – 2 की बढ़त लेने के बाद, पूजा गहलोच ने दूसरे दौर में तुरंत दो अंक हासिल कर 12 – 2 से मैच जीतकर भारत को कुश्ती में एक और कांस्य पदक दिलाया। वर्तमान में, भारत की पदक तालिका 31 है।

************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

20 रुपये सहयोग राशि देकर झंडा प्राप्त कर सकते हैं रांची वासी

*समाहरणालय परिसर ब्लॉक A में जेएसएलपीएस ने लगाया स्टॉल

*सुबह 10ः00 बजे से शाम 05ः00 बजे तक लगा रहेगा स्टॉल

*हर घर तिरंगा अभियान को लेकर जागरुकता रथ किया गया रवाना

*सखी मंडल की दीदियों का सहयोग करें 

*अपने घर में झंडा फहराने का प्रण लें

*09 अगस्त से ग्रामीण क्षेत्र में डोर टू डोर झंडा वितरण अभियान

06.08.2022,रांची (FJ)आजादी के अमृत महोत्सव के अंतर्गत हर घर तिरंगा अभियान को लेकर रांची जिला में लोगों को जागरुक करने हेतु जागरुकता वाहन रवाना किया गया। उपायुक्त रांची श्री राहुल कुमार सिन्हा ने समाहरणालय परिसर से हरी झंडी दिखाकर जागरुकता रथ रवाना किया। इस दौरान जिला कार्यक्रम प्रबंधक, झारखंड लाइवलीहुड प्रमोशन सोसायटी श्री दिव्य दीप सिंह, सखी मंडल दीदियां और जेएसएलपीएस के कर्मी उपस्थित थे। जागरुकता वाहन के माध्यम से लोगों को 13-15 अगस्त तक हर घर तिरंगा अभियान एवं राष्ट्रीय ध्वज के प्रति सम्मान को लेकर जागरुक किया जायेगा। जागरुकता रथ के माध्यम से सहयोग राशि देकर शहरी क्षेत्रों में लोग झंडा भी प्राप्त कर सकते हैं।

समाहरणालय परिसर में स्टॉल

जेएसएलपीएस की ओर से समाहरणालय ब्लॉक A परिसर में स्टॉल लगाया गया है। स्टॉल में सखी मंडल की दीदियों द्वारा बनाया तिरंगा उपलब्ध है। जहां सुबह दस बजे से शाम पांच बजे तक रांची वासी 20 रुपये की सहयोग राशि देकर तिरंगा प्राप्त कर सकते हैं। जबकि ग्रामीण क्षेत्रों में निःशुल्क झंडा उपलब्ध कराया जायेगा।

उपायुक्त श्री राहुल कुमार सिन्हा ने स्टॉल पहुंचकर दीदियों द्वारा बनाया गया तिरंगा देखा और उनसे बात की। उन्होंने कहा कि आजादी के 75 वर्ष के उपलक्ष में पूरे देश में आजादी का अमृत महोत्सव मनाया जा रहा है। इस महोत्सव के अंतर्गत हर घर तिरंगा फहराने का संकल्प लिया जा रहा है। इतने बड़े पैमाने पर झंडे बनाने की तैयारियां जेएसएलपीएस की सखी मंडल की दीदियों/माताओं द्वारा की जा रही है। हर घर में इस माध्यम से झंडा फहराया जाएगा साथ ही सभी सखी मंडल की दीदियों को अच्छी आजीविका की व्यवस्था भी सुनिश्चित हो जाएगी।

सखी मंडल की दीदियों का सहयोग करें 

उपायुक्त रांची श्री राहुल कुमार सिन्हा ने कहा कि मेरा सभी से अनुरोध रहेगा कि इन दीदियों का सहयोग करें। इनके द्वारा मेहनत कर बड़े पैमाने पर झंडों का उत्पादन किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि अगर रांचीवासी सहयोग राशि देकर एक भी झंडा इनसे लेते हैं तो इन्हें आर्थिक मजबूती मिलेगी।

अपने घर में झंडा फहराने का प्रण लें 

उपायुक्त रांची श्री राहुल कुमार सिन्हा ने रांची वासियों से अपील करते हुए कहा कि इस वर्ष 13 तारीख से लेकर आने वाले दिनों में निश्चित रूप से अपने घर में झंडा फहराने का प्रण लें। एक ऐसा अवसर बनाएं कि पूरी दुनिया में हमारे देश का नाम रोशन हो, सभी लोग जाने की अमृत महोत्सव के दौरान हर घर में झंडा फहराया जा रहा है।

जिला कार्यक्रम प्रबंधक, झारखंड लाइवलीहुड प्रमोशन सोसायटी श्री दिव्य दीप सिंह ने बताया कि कुल 10 लाख झंडे तैयार करने का आर्डर दिया गया था। सर्ड में बनाये गये प्रोडक्शन यूनिट, जिसे सखी मंडल की दीदियां चलाती हैं वहां झंडा बनाने का कार्य किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि जेएसएलपीएस द्वारा सभी जिलों से समन्वय स्थापित किया गया है, किसी जिले में झंडा का ज्यादा उत्पादन होने पर दूसरे जिले को भी उपलब्ध कराया जा रहा है।

09 अगस्त से ग्रामीण क्षेत्र में डोर टू डोर झंडा वितरण अभियान

डीपीएम जेएसएलपीएस ने बताया कि मशीन से कटिंग कर झंडा गांव में दिया जा रहा है, जो दीदियां घर में सिलाई करती हैं वो सिलाई का कार्य कर रही हैं। जेएसएलपीएस को ग्रामीण क्षेत्र में हर घर में झंडा पहुंचाने का टारगेट दिया गया है। हर घर में फ्री ऑफ कॉस्ट सखी मंडल एवं ग्राम संगठन के माध्यम से झंडा पहुंचाना है। उन्होंने बताया कि 09 अगस्त से ग्रामीण क्षेत्र में डोर टू डोर झंडा वितरण अभियान शुरु होगा। फिलहाल आजादी के हर घर झंडा कार्यक्रम को सफल बनाने को लेकर ग्रामीण इलाकों में जागरूकता अभियान चलाया जा रहा है। हर दिन गांव-गांव में रैलियां निकाली जा रही हैं।

****************************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

 

सु्प्रीम कोर्ट : बरी करने के आदेश में अकारण हस्तक्षेप नहीं किया जाना चाहिए

नई दिल्ली 06 Aug. (Rns/FJ) सु्प्रीम कोर्ट ने कहा है कि बरी किये जाने के आदेश में अकारण हस्तक्षेप नहीं किया जाना चाहिए। न्यायालय ने इसके साथ ही पत्नी के साथ क्रूरता के एक मामले में पति को दोषमुक्त किए जाने के आदेश को बहाल रखा। सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि अपीलीय अदालत को इस तरह के आदेश को रद्द करने से पहले, बरी करने संबंधी सभी तर्कों पर विचार करना चाहिए।

जस्टिस उदय उमेश ललित और जस्टिस एस. आर. भट की पीठ ने मद्रास हाई कोर्ट के मार्च 2019 के फैसले को निरस्त कर दिया, जिसमें भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 498-ए के तहत कथित अपराध के लिए व्यक्ति को दोषी ठहराने के आदेश को बहाल कर दिया था। पीठ ने कहा, ‘अपील के फैसले में कोई कारण नहीं बताया गया है कि आईपीसी की धारा 498-ए के तहत दर्ज बरी करने के आदेश को रद्द करने की आवश्यकता क्यों थी।’

सुप्रीम कोर्ट ने कहा, ‘यह एक स्थापित कानून है कि बरी किये जाने के आदेश में अकारण हस्तक्षेप नहीं किया जाना चाहिए और बरी करने से पहले, अपीलीय अदालत को हर उस कारण पर विचार करना चाहिए, जिसे बरी करने के लिए दर्ज किया गया था। पीठ ने कहा, ‘रिकॉर्ड पर विचार करते हुए हमें ऐसे बरी आदेश को चुनौती देने वाली किसी अपील की सुनवाई का कोई कारण नहीं नजर आता।’

**********************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

जगदीप धनखड़ बने नए उपराष्ट्रपति

*200 वोट भी नहीं पा सकीं विपक्ष की उम्मीदवार मार्गरेट अल्वा*

नई दिल्ली 06 Aug. (Rns/FJ) पश्चिम बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ देश के नए उपराष्ट्रपति होंगे। उन्होंने अपने प्रतिद्वंद्वी और विपक्ष के उम्मीदवार मार्गरेट अल्वा को हराया। धनखड़ को 528 वोट मिले। इसमें से 15 वोट अमान्य रहे। जबकि मार्गरेट अल्वा को 182 वोट पड़े। धनखड़ ने विपक्ष के उम्मीदवार को 346 मतों के अंतर से हराया। लोकसभा के महासचिव उत्पल कुमार ने प्रेस कांफ्रेंस कर उनके नाम का औपचारिक ऐलान किया। हालांकि एनडीए उम्मीदवार धनखड़ के जीत के कयास शुरुआत से ही लगाए जा रहे थे। शनिवार को संसद में उपराष्ट्रपति चुनाव के लिए कुल 780 में से 725 सांसदों ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया। टीएमसी के 34 सांसदों, एसपी और शिवसेना के दो और बीएसपी के एक सांसद ने वोटिंग से किनारा किया। शाम पांच बजे तक मतदान चला और एक घंटे बाद यानी 6 बजे से काउंटिंग शुरू हुई।

उपराष्ट्रपति पद की दौड़ भी पूरी हो चुकी है। एनडीए उम्मीदवार जगदीप धनखड़ देश के अगले उपराष्ट्रपति होंगे। उन्होंने विपक्ष के संयुक्त उम्मीदवार मार्गरेट अल्वा को 346 मतों के अंतर से हराया। धनखड़ को 528 वोट मिले, अल्वा को 182 जबकि 15 वोट रद्द हुए। धनखड़ के उपराष्ट्रपति बनने पर पीएम मोदी, गृह मंत्री अमित शाह समेत कई नेताओं ने बधाई दी। उनके उपराष्ट्रपति बनने पर दिल्ली स्थित भाजपा मुख्यालय में जश्न मनाया गया। ढोल नगाड़ों के साथ भाजपा कार्यकर्ता नाचते हुए नजर आए।

किन-किन सांसदों ने वोटिंग नहीं की
उपराष्ट्रपति चुनाव के लिए कुल 55 सांसदों ने वोटिंग के अधिकार का प्रयोग नहीं किया। इनमें से टीएमसी के 34 सांसद शामिल थे। हालांकि टीएमसी के दो सांसदों ने पार्टी प्रमुख ममता बनर्जी के आदेश के बावजूद वोटिंग में हिस्सा लिया। ये नाम शिशिर और दिव्येंदु अधिकारी के हैं। इसके अलावा एसपी और शिवसेना के दो और बीएसपी के एक सांसद ने भी वोटिंग नहीं की। भाजपा के दो सांसदों- सनी देओल और संजय धोत्रे ने भी स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए वोटिंग से किनारा किया।

पीपीई किट पहनकर वोट डालने पहुंचे सिंघवी
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सदस्य अभिषेक मनु सिंघवी कोरोना वायरस से संक्रमित होने के कारण पीपीई किट पहनकर संसद भवन पहुंचे और अपने मताधिकार का इस्तेमाल किया।

पीएम मोदी ने डाला पहला वोट
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सबसे पहले संसद भवन पहुंचकर वोट डाला। पीएम मोदी के अलावा पूर्व पीएम मनमोहन सिंह ने व्हील चेयर पर पहुंचकर वोट डाला। सोनिया गांधी समेत कांग्रेस और सत्ताधारी पक्ष के कई सांसदों ने वोटिंग की।

कौन हैं जगदीप धनखड़
राजस्थान के झुंझुनू जिले में एक सुदूर किठाना गांव में कृषि परिवार में जन्मे जगदीप धनखड़ का उपराष्ट्रपति तक का सफर बेहद दिलचस्प है। जगदीप धनखड़ साल 1989 में जनता दल पार्टी के सांसद के तौर पहली बार राजस्थान के झुंझुनू जिले से संसद पहुंचे थे। इस दौरान उन्होंने संसदीय कार्यमंत्री के तौर पर अपनी सेवाएं दी। 1993 में वे अजमेर जिले के किशनगढ़ से राजस्थान विधानसभा पहुंचे। साल 2019 में उन्हें केंद्र सरकार द्वारा पश्चिम बंगाल का राज्यपाल नियुक्त किया गया था।

*********************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

उप राष्ट्रपति पद के लिए संसद में मतदान संपन्न

*देर शाम तक परिणाम आने की उम्मीद*

नई दिल्ली,06 अगस्त (आरएनएस/FJ)। देश में अगले उपराष्ट्रपति के चुनाव के लिए मतदान शनिवार को संसद भवन में संपन्न हो गया। सुबह 10.00 बजे से लेकर शाम 5.00 बजे तक चले इस मतदान में संसद के दोनों सदनों लोकसभा और राज्यसभा के सदस्यों ने मतदान किया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने उप राष्ट्रपति चुनाव में मतदान किया। चुनाव परिणाम भी देर शाम तक आने की उम्मीद है।

राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) ने भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता और पश्चिम बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ को अपना उम्मीदवार बनाया है। संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन ने कांग्रेस की वरिष्ठ नेता और पूर्व राज्यपाल तथा पूर्व केंद्रीय मंत्री मार्गरेट अल्वा को अपना उम्मीदवार चुना है। उपराष्ट्रपति चुनाव के निर्वाचक मंडल में दोनों सदनों के सांसद शामिल है। फिलहाल राज्यसभा की 245 सीटों में से आठ सीटें रिक्त है। इसके अलावा तृणमूल कांग्रेस ने उपराष्ट्रपति चुनाव के मतदान में अनुपस्थित रहने का फैसला किया।

राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन में शामिल राजनीतिक दलों के संसद में 441सदस्य हैं। इनमें से 394 भारतीय जनता पार्टी के हैं। राज्यसभा में पांच नामित सदस्यों ने भी राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के उम्मीदवार का समर्थन करने का निर्णय लिया। इसके अलावा बीजू जनता दल, वाईएसआर कांग्रेस पार्टी, बहुजन समाज पार्टी, तेलुगू देशम पार्टी, शिरोमणि अकाली दल, शिवसेना- एकनाथ शिंदे गुट ने भी श्री धनखड़ का समर्थन करने की घोषणा की ।

संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन की उम्मीदवार श्रीमती अल्वा का समर्थन कांग्रेस, द्रविड़ मुन्नेत्र कषगम, राष्ट्रीय जनता दल, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी, समाजवादी पार्टी और वामदलों ने किया। इसके अलावा झारखंड मुक्ति मोर्चा, तेलंगाना राष्ट्र समिति, आम आदमी पार्टी, शिवसेना -उद्धव ठाकरे गुट ने भी श्रीमती अल्वा का समर्थन करने की बात कही ।

*************************************

इसे भी पढ़ें : मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लिनिक योजना

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

Exit mobile version