स्ट्रॉ का उपयोग से सेहत को होते हैं भयंकर नुकसान

14.07.2022 – क्या आप भी होटल एवं पार्टियों में स्ट्रॉ की सहायता से पानी एवं जूस का सेवन करना पसंद करते हैं। तो यह आदत आपकी जानलेवा हो सकती है। क्योंकि स्ट्रॉ की सहायता से सॉफ्ट ड्रिंक का सेवन करने से आपको सेहत से जुड़े कई नुकसान हो सकते हैं। आज हम आपको इस आर्टिकल में स्ट्रॉ का उपयोग करने से होने वाले सेहत पर नुकसान के बारे में बताएंगे।मोटापा बढ़ाएं जब आप स्ट्रॉ की सहायता से जूस या कोल्डड्रिंक पीते हैं तो आप सामान्य से अधिक पी लेते हैं।

वही हाई कैलोरी वाले सॉफ्ट ड्रिंक के छोटे घुंट पीने से आपका अधिक वजन बढ़ाने का मुख्य कारण बनते हैं। जिससे आपको भूख अधिक लगती है और आपके शरीर को नुकसान होता है। जिससे वजन बढ़ता है। हानिकारक केमिकल्स जाते हैं शरीर के अंदर प्लास्टिक के स्ट्रॉ से बने होते हैं। और जब आप इस स्ट्रॉ से ड्रिंक करते हैं तो यह आपकी बॉडी में सीधे जाकर आपके शरीर के हार्मोन के लेवल को प्रभावित करते हैं। साथ ही ये हानिकारक केमिकल्स बीमारियों को बढ़ावा देते हैं।

दांतो को होता है नुकसान अधिकतर आपने सुना होगा कि जंक फूड खाने से दांतों में सडऩ, कैविटी एवं अन्य ओरल स्वास्थ्य समस्याएं होती हैं। लेकिन स्ट्रॉ की सहायता से भी दांतों में समस्याएं हो सकती हैं। स्ट्रॉ का उपयोग करके यदि आप कुछ पीते हैं तो यह सीधे आपके दांतों और इनेमल को छूते हैं। यह आपके दांतों को नुकसान पहुंचाता है।

दिखने लगती है झुर्रियां जब आप स्ट्रॉ की सहायता से ड्रिंक को पीते हैं तो मुंह में चूसने के लिए अपने होठों से एक पाउट बनाते हैं। इस एक्टिविटी को दोहराने से आपके होठों के आसपास फाइन लाइंस और झुर्रियां हो सकती हैं।

साथ ही आंखों के आसपास भी झुर्रियां दिखाई देने लगती हैं। यानी कम उम्र में ही आपके फेस पर झुर्रियां नजर आने लगेंगी। (एजेंसी)

*********************************

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के मायने

इसे भी पढ़ें : संकटकाल में नयी चाल में ढला साहित्य

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Exit mobile version