राहुल गांधी को उस्मानिया यूनिवर्सिटी ने नहीं दी दौरे की इजाजत

हैदराबाद,02 मई (आरएनएस)। राहुल गांधी को उस्मानिया यूनिवर्सिटी ने नहीं दी दौरे की इजाजत. उस्मानिया यूनिवर्सिटी का नाम भारत के भारत के सबसे पुराने विश्वविद्यालयों में शामिल किया जाता है। अब खबर है कि यूनिवर्सिटी ने कथित तौर पर कांग्रेस नेता राहुल गांधी को कैंपस में गैर-राजनीतिक दौरे की अनुमति देने से इनकार कर दिया।

हालांकि, अभी इसे लेकर आधिकारिक रूप से कुछ नहीं कहा गया है, लेकिन कथित फैसले ने तेलंगाना में नया सियासी विवाद खड़ा कर दिया है। विश्वविद्यालय ने कार्यक्रम के आयोजकों को कार्यकारी समिति के कथित फैसले के बारे में लिखित जानकारी नहीं दी है। इधर, कांग्रेस ने इसे लेकर तेलंगाना राष्ट्र समिति की राज्य सरकार पर निशाना साधा है। वहीं, कुछ छात्रों ने राहुल के दौरे के लिए यूनिवर्सिटी को आदेश देने के लिए हाईकोर्ट का रुख किया है। कांग्रेस नेताओं ने रविवार को कहा कि उन्होंने 23 अप्रैल को कार्यक्रम के लिए अनुमति मांगी थी और बताया गया था कि आयोजन गैर-राजनीतिक होगा।

रिपोर्ट के अनुसार, ,एक अधिकारी ने बताया कि साल 2017 से कार्यकारी परिषद ने प्रस्ताव अपनाया था, जिसमें सियासी बैठकों समेत गैर-शैक्षणिक गतिविधियोंकी कैंपस में रोक लगा दी थी। अधिकारी ने कहा कि ऐसा प्रस्ताव जून 2017 में अपनाया गया था। उन्होंने बताया कि इसके एक साल पहले हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को यूनिवर्सिटी कैंपस में राजनीतिक और सार्वजनिक बैठकों की अनुमति नहीं देने के आदेश दिए थे। दरअसल, उस दौरान राजनीतिक गतिविधियों को लेकर लगातार हो रही परेशानी के चलते याचिका दायर की थी।

विश्वविद्यालय की तरफ से लिए गए इस कथित फैसले ने कैंपस में विरोध खड़ा कर दिया है। यूथ कांग्रेस के कई नेताओं और समर्थकों ने शनिवार को ह्र आर्ट्स कॉलेज में प्रदर्शन किया है। वहीं, इसके जवाब में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद और टीआरएस से जुड़े छात्र संगठनों ने जवाबी प्रदर्शन किया।

रिपोर्ट के मुताबिक, तेलंगाना निरुद्योग विध्यार्थी जॉइंट एक्शन कमेटी के मानवता रॉय ने कहा कि प्रशासन ने फैसले की जानकारी लिखित में नहीं दी है। उन्होंने कहा, हम प्रशासन की तरफ से सोमवार को कुछ कहे जाने की उम्मीद कर रहे हैं।

******************************************

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के मायने

इसे भी पढ़ें : संकटकाल में नयी चाल में ढला साहित्य

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Exit mobile version