गोल्डन बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड में भी शामिल
प्रथम आम चुनाव से लेकर वर्ष 2018 तक हुए चुनावों के आँकड़े और कई रोचक तथ्य इसमें शामिल
* लेखक जी. आर. राना ने साढ़े तीन साल की मेहनत से तैयार किया यहविशाल ग्रंथ
रायपुर 2 अप्रैल 2024 – इस चुनावी वर्ष में छत्तीसगढ़ राज्य अनुसूचित जन-जाति आयोग के पूर्व अध्यक्ष जी. आर. राना द्वारा रचित लगभग 602 (छह सौ दो) पृष्ठों का महाग्रंथ एक ऐतिहासिक दस्तावेज़ के रूप में सामने आया है। इस महाग्रंथ में छत्तीसगढ़ के सभी विधान सभा निर्वाचन क्षेत्रों के वर्ष 1952 से लेकर वर्ष 2018 तक के यानी 66 वर्षों में हुए चुनावों के रिजल्ट और उससे संबंधित प्रामाणिक आँकड़े और रोचक तथा कई प्रामाणिक तथ्य विस्तारपूर्वक संकलित हैं।
इस महाग्रंथ को गोल्डन बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में भी शामिल किया गया है। महाग्रंथ के महत्व को देखते हुए गोल्डन बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड ने इस महाग्रंथ को ‘श्रेष्ठता का प्रमाण पत्र (सर्टिफिकेट ऑफ एक्सीलेंस) भी प्रदान किया है। श्री राना द्वारा अपने व्यक्तिगत प्रयासों से परिश्रम पूर्वक रचित यह महाग्रंथ ‘निर्वाचन सार -छत्तीसगढ़’ शीर्षक से सर्वप्रिय प्रकाशन दिल्ली द्वारा प्रकाशित किया गया है।
महाग्रंथ के लेखक श्री राना ने आज यहाँ समाचार एजेंसी राष्ट्रीय न्यूज सर्विस (आर. एन. एस. ) को बताया कि इस विशाल ग्रंथ में आज़ादी के पाँच वर्ष बाद वर्ष 1952 में देश में हुए प्रथम आम चुनाव से लेकर वर्ष 2018 तक हुए विधानसभा चुनावों के सभी आँकड़े शामिल हैं ,जो सभी राजनीतिक दलों के साथ -साथ चुनावों में प्रत्याशी बनने वाले नागरिकों के लिए तो उपयोगी है ही, साथ ही यह पुस्तक चुनावों की रिपोर्टिंग करने वाले पत्रकारों ,राजनीतिक विश्लेषकों के लिए भी उपयोगी हो सकती है।
लोकसेवा आयोग आदि की प्रतियोगी परीक्षाओं में शामिल होने वाले युवाओं का सामान्य ज्ञान बढ़ाने की दृष्टि से भी यह महाग्रंथ काफी उपयोगी होगा। इस विशाल पुस्तक में आँकड़ों को विधानसभा क्षेत्र वार तालिकाओं में प्रस्तुत किया गया है।
लेखक श्री जी. आर. राना ने बताया कि इस महाग्रंथ के लिए प्रामाणिक आँकड़ों और प्रामाणिक तथ्यों के संकलन और उसके बाद पुस्तक के रूप में इसे तैयार करने में उन्हें लगभग साढ़े तीन साल का समय लगा। उन्होंने बड़ी मेहनत से इसे तैयार किया है।उन्होंने बताया कि अपने इस महाग्रंथ में उन्होंने वर्ष 1952 से 2018 तक अर्थात पंद्रह बार चुनावों में जनमत किस दिशा में गया,उसमें जनप्रतिनिधियों की क्या भूमिका थी ,तत्कालीन समय में वर्ष 1952 और 1957 में कुछ विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रो में दो -दोविधायकों की व्यवस्था की भी जानकारी दी है।
इसके अलावा वर्ष 1952 से 2018 तक हुए चुनावों में महिला प्रत्याशियों की सूची और उन्हें प्राप्त मतों के आँकड़े भी इसमें दिए गए हैं। जनता के मन में चुनावों में प्रतिनिधित्व के लिए बढ़ते रूझान का भी उल्लेख उन्होंने महाग्रंथ में किया है।इतना ही नहीं ,बल्कि तत्कालीन अविभाजित मध्यप्रदेश के समय छत्तीसगढ़ में विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रों के गठन और कुछ निर्वाचन क्षेत्रों के विलोपन का ब्यौरा भी इसमें दिया गया है।
उन्होंने बताया कि अब तक छत्तीसगढ़ में कुल 128 निर्वाचन क्षेत्रों में से 38 का विलोपन हो चुका है। इस प्रकार राज्य में फिलहाल 90 विधानसभा सीटें हैं। श्री राना ने बताया कि उनका अगला प्रयास ये है कि इस महाग्रंथ को विस्तार देने के लिए वह इसमें वर्ष 2023 में हुए आम चुनाव के आँकड़ों को भी शामिल करेंगे।
महाग्रंथ के रचयिता श्री राना छत्तीसगढ़ के बालोद जिले के अंतर्गत ग्राम कोचवाही के मूल निवासी हैं ,जहाँ 12 अप्रैल 1947 को उनका जन्म हुआ था। वर्तमान में वह धमतरी के पंचवटी कॉलोनी में रहते हैं। उन्होंने मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ राज्य में प्रशासनिक अधिकारी के रूप में राजस्व विभाग के विभिन्न पदों पर भी वर्षों तक अपनी सेवाएँ दी हैं।
श्री राना ने अपने कैरियर की शुरुआत वर्ष 1965 में वन विभाग से की थी।कुछ समय वहाँ नौकरी करने के बाद वह वर्ष 1965 से 1973 तक शिक्षा विभाग की सेवा में रहे और बाद में उनका चयन राज्य प्रशासनिक सेवा के लिए हुआ। इसके अंतर्गत श्री राना नायब तहसीलदार ,फिर तहसीलदार और डिप्टी कलेक्टर तथा संयुक्त कलेक्टर के पद पर कार्यरत रहे।
इस दौरान वह मध्यप्रदेश कनिष्ठ प्रशासनिक सेवा संघ के प्रांताध्यक्ष भी रहे। वर्ष 2008 से 2023 तक उन्होंने अखिल भारतीय हल्बा समाज के राष्ट्रीय अध्यक्ष का दायित्व संभाला। छत्तीसगढ़ सरकार ने उन्हें वर्ष 2016 में छत्तीसगढ़ राज्य अनुसूचित जन -जाति आयोग का अध्यक्ष मनोनीत किया। उन्होंने तीन वर्ष का अपना कार्यकाल वर्ष 2019 में पूरा किया।
उनके महाग्रंथ’निर्वाचन सार-छत्तीसगढ़’ का मूल्य प्रकाशक द्वारा 700 रुपए निर्धारित किया गया है।
इसे प्राप्त करने के इच्छुक नागरिक
सर्वप्रिय प्रकाशन
,1569 ,प्रथम तल ,चर्च -रोड ,
कश्मीरी गेट ,नई दिल्ली
से
अथवा
रायपुर (छत्तीसगढ़)में
चंगोराभाठा रोड ,
एमराल्ड होटल के पीछे,
पी.एस. सिटी ,
स्थित उनके कार्यालय
से सम्पर्क कर सकते हैं।
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