नूंह 27 Aug. (एजेंसी): हरियाणा सरकार ने नूंह में सर्वजातीय हिंदू महापंचायत के 28 अगस्त को पुन: ब्रजमंडल जलाभिषेक यात्रा निकालने के आह्वान के मद्देनजर यहां सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी है। वहीं सरकार ने खुफिया एजेंसियों की रिपोर्ट तथा हर सूरत में कानून व्यवस्था, शांति और सद्भाव बनाये रखने को लेकर यात्रा की अनुमति देने से इनकार कर दिया है। जिला प्रशासन ने नूंह जिले में जहां निषेधाज्ञा लागू की है वहीं राज्य सरकार ने नूंह जिले में एहतियाती कदम के तौर पर, 26 अगस्त को दोपहर 12 बजे से 28 अगस्त को रात 11ः59 बजे तक इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी है। मौके पर भारी पुलिस बल तैनात किया गया है। जिले के सभी राजपत्रित अधिकारियों को स्टेशन नहीं छोड़ने के आदेश दिए गए हैं। इसके अलावा अलग-अलग इलाकों में ड्यूटी मजिस्ट्रेट तैनात कर दिए गए हैं। नूंह जिला उपायुक्त धीरेंद्र खड़गटा ने साफ तौर कहा है कि इलाके में हर हाल में अमन-शांति कायम रखी जाएगी।
वहीं विश्व हिंदू परिषद(वीएचपी) समेत अनेक हिंदू संगठन ने कहा कि गत 31 जुलाई को उक्त शोभा यात्रा पर एक समुदाय के लोगों द्वारा पथराव और हिंसा किये जाने पर यह अधूरी रह गई थी जिसे केवल पूरा किया जा रहा है। किसी धर्म और सम्प्रदाय को अपनी धार्मिक रस्मों या कार्यक्रम करने का अधिकार है तथा इसके लिये किसी अनुमति की जरूरत नहीं है। अलबत्ता हिंदू संगठनों ने कहा है कि यात्रा निकालने के बारे में स्थानीय प्रशासन को पहले की सूचित किया जाएगा तथा यात्रा के स्वरूप और आकार को लेकर भी चर्चा हो सकती है। हिंदू संगठनों का यह भी कहना है कि यात्रा में केवल स्थानीय लोग ही शामिल होंगे तथा कोई भी बाहरी व्यक्ति इसमें भाग नहीं लेगा। ऐसे में राज्य सरकार के लिये अब अजमंजस की स्थिति पैदा हो गई है। मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने भी हिंदू संगठनों से यात्रा नहीं निकालने की अपील कर चुके हैं।
इससे पहले हरियाणा के पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) शत्रुजीत कपूर, हिंदू संगठनों के उक्त ऐलान के मद्देनजर गत शनिचार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सीमावर्ती राज्यों के वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के साथ बैठक कर स्थिति से प्रभावी ढंग से निपटने के लिए समन्वित प्रयास का आह्वान कर चुके हैं। बैठक में पंजाब, दिल्ली, उत्तर प्रदेश, राजस्थान और केंद्र शासित क्षेत्र चंडीगढ़ के वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों ने भाग लिया। उन्होंने कहा कि नूंह जिला प्रशासन ने तीन से सात सितम्बर तक यहां होने वाली जी20 शेरपा समूह की बैठक के मद्देनजर यात्रा की अनुमति देने से इनकार कर दिया है तथा इस बारे में आयोजकों को सूचित भी कर दिया गया है। लेकिन फिर से ऐसी सूचनाएं हैं कि हिंदू संगठनों ने हरियाणा और अन्य पड़ोसी राज्यों के लोगों को 28 अगस्त को नूंह पहुंचने के लिए आमंत्रित किया है।
श्री कपूर ने पड़ोसी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेश चंडीगढ़ के अधिकारियों ने उत्पन्न स्थिति को लेकर तथा इससे प्रभावी ढंग से निपटने के लिए खुफिया जानकारी साझा करने पर जोर देते हुए, सोशल मीडिया प्लेटफार्मों की नियमित निगरानी करने तथा शांति भंग करने वालों के बारे में जानकारी साझा करने और उनके खिलाफ कार्रवाई करने तथा लोगों की किसी भी तरह की भीड़ को रोकने के लिए अंतरराज्यीय सीमा पर अवरोधक लगाने को कहा है। उन्होंने स्पष्ट किया कि किसी को भी कानून अपने हाथ में लेने की इजाजत नहीं दी जाएगी।
उल्लेखनीय है कि गत 31 जुलाई को यहां आयोजित बृज मंडल शोभा यात्रा के दौरान साम्प्रदायिक हिंसा भड़क गई थी। इस दौरान एक समुदाय के लोगों ने इस पर पथराव कर दिया था। इस हिंसा में दो होमगार्ड सहित छह लोगों की मौत हो गई थी तथा अनेक घायल हो गए थे। नूंह हिंसा का असर हरियाणा के गुरूग्राम और फरीदाबाद समेत अन्य जिलों में भी हुआ था जां आगजनी और मारपीट की घटनाएं सामने आईं थीं। इस घटना के बाद जिला प्रशासन ने उपद्रवियों पर कड़ी कार्रवाई करते हुये लगभग 300 से अधिक लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है तथा करीब 150 एफआईआर दर्ज की गई हैं। धरपकड़ का यह सिलसिला अभी जारी है। कुछ उपद्रवियों के घरों को भी जमींदोज किया गया है। जिला प्रशासन हिंसा में शामिल किसी को भी बख्शने के मूड में नहीं है।
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