Madan Lal Khurana had a struggle as well as a solution Nadda

नई दिल्ली, 15 अक्टूबर(आरएनएस/FJ)। । दिल्ली में पूर्व मुख्यमंत्री मदन लाल खुराना की जन्मजयंती के अवसर पर आयोजित प्रथम मदन लाल खुराना मेमोरियल लेक्चर को संबोधित करते हुए भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा ने कहा कि विचारधाराओं और मान्यताओं के लिए मदन लाल खुराना ने पूरा जीवन लगा दिया और उस वक्त खोने के लिए सब कुछ था लेकिन पाने के लिए कुछ भी नहीं था।

जगत प्रकाश नड्डा ने कहा कि दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री और भाजपा के वरिष्ठ नेता मदन लाल खुराना एक ऐसी शख्सियत थे जो सिर्फ विचारधाराओं और मुद्दों से जुड़े थे। वे कभी कुर्सी के लिए नहीं जुड़े बल्कि मुद्दों तक पहुंचने के लिए कुर्सी को सिर्फ एक माध्यम बनाया।

यही कारण है कि आज वे हम सब के लिए प्रेरणास्त्रोत हैं। मदन लाल खुराना के राजनीतिक सफर पर आधारित एक लघु चित्र देखने के उपरांत जगत प्रकाश नड्डा ने सभा को संबोधित करते हुए कहा कि हमारी पार्टी की नींव ऐसे दिग्गजों ने रखी है जिन्होंने विचार पर अडिग होकर विषम परिस्थितियों में भी आगे बढ़ते रहे।

मदन लाल खुराना उन लोगों में से थे जिन्होंने आपातकाल के वक्त जेल में 19 महीने गुजारे। उन्होंने कहा कि आपातकाल में मीसा के तहत एक लाख 30 हज़ार लोग जेल के अंदर गए जिनमें से 70 हज़ार लोग भाजपा की विचारधारा से जुड़े हुए थे। लेकिन उन परिस्थितियों में भी जो लोग खड़े रहे, उनके बदौलत ही आज पार्टी खड़ी हैं।

जगत प्रकाश नड्डा ने कहा कि आज अगर भाजपा 18 करोड़ सदस्यों की पार्टी बनी है तो उनमें मदन लाल खुराना जैसे शख्सियत की त्याग और खुद का समर्पण का ही नतीजा है। क्योंकि उनके पास संघर्ष भी था और समाधान भी।

जब लोग मेट्रो की कल्पना तक नहीं करते थे, उस वक्त मदन लाल खुराना की कोई भी बात बिना मेट्रो के नहीं होती थी। उन्होंने कहा कि 11 चुनावों में 10 चुनाव जीतकर उन्होंने साबित कर दिया कि दिल्ली उनके दिल में बसती थी।

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