Chief Minister's speech on the occasion of 77th Independence Day

प्यारे झारखण्डवासियों,
जोहार!
भगवान बिरसा मुण्डा एवं वीर सिद्धो कान्हू जैसे अनेक महान सपूतों की बलिदानी भूमि पर मैं आप सभी का हार्दिक अभिनन्दन करता हॅँू और समस्त झारखण्डवासियों तथा देशवासियों को स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएँ देता हूँ।

आज हम भारत की आजादी की 76वीं वर्षगाँठ पूरे हर्षोल्लास के साथ मना रहे हैं। परन्तु हमें यह नहीं भूलना चाहिए कि आजादी के मतवाले लाखों देशभक्तों की शहादत की बदौलत हमें यह आजादी मिली है। स्वतंत्रता सेनानियों की गौरव गाथा हमारे लिए प्रेरणा के स्रोत हैं।
राष्ट्रीय पर्व की इस पावन बेला में मैं, राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी, पंडित जवाहर लाल नेहरू, डॉ॰ बाबा साहेब अम्बेडकर,
डॉ॰ राजेन्द्र प्रसाद, नेताजी सुभाष चन्द्र बोस, शहीद भगत सिंह, सरदार पटेल सहित उन तमाम देशभक्तों के प्रति अपनी सच्ची श्रद्धांजलि अर्पित करता हूँ जिनके कठिन संघर्ष, त्याग और बलिदान ने हमें आजादी दिलायी।

Chief Minister's speech on the occasion of 77th Independence Day

स्वतंत्रता दिवस के इस पावन अवसर पर मैं, झारखण्ड के वीर सपूतों, धरती आबा बिरसा मुण्डा, वीर सिद्धो-कान्हू, बाबा तिलका मांझी, चांद-भैरव, बहन फूलो-झानों, वीर बुद्धु भगत, जतरा टाना भगत, नीलाम्बर-पीताम्बर, पाण्डेय गणपत राय, टिकैत उमराव, शहीद विश्वनाथ शाहदेव को भी नमन करता हूँ, जिनके संघर्ष की गौरव गाथा आज भी हमें साहस और संबल प्रदान करती है।

Chief Minister's speech on the occasion of 77th Independence Day

देश की सुरक्षा में लगे सेना के और पुलिस के वीर जवानों को भी मैं स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएँ देता हूँ और राष्ट्र के प्रति उनके समर्पण और बलिदान को सलाम करता हूँ।

मैं, नमन करता हूँ बाबा साहब भीमराव अम्बेडकर को, जिन्होंने आदिवासियों, पिछड़ों, दलितों को उनका हक दिलाने के लिए अथक प्रयास किया और सदियों से शोषित इस वर्ग को संवैधानिक सुरक्षा कवच दिया। बाबा साहब के महान और दूरदर्शी सोच का ही प्रतिफल है कि पिछले 75 वर्षों में देश के आदिवासी, दलित एवं पिछडे़ वर्ग सामाजिक, आर्थिक एवं राजनीतिक रूप से काफी सशक्त हुए हैं।

झारखण्ड के प्रत्येक वर्ग और समुदाय के आपार स्नेह और आशीर्वाद से लगभग साढ़े तीन वर्ष पूर्व मुझे राज्य की बागडोर संभालने का सौभाग्य प्राप्त हुआ। सरकार गठन के बाद हमने झारखण्ड में व्याप्त गरीबी, बेरोजगारी, पलायन जैसी समस्याओं का समाधान करने के लिए गंभीर प्रयास शुरू किये।

हमने संकल्प लिया है कि राज्य की जनता के सहयोग से एक सशक्त झारखण्ड का निर्माण करेंगे। जनभावना और जन-भागीदारी के साथ हमारी सरकार एक ऐसी व्यवस्था को आकार देने के लिए प्रयासरत् है जहाँ गरीब, वंचित, मजदूर, किसान, आदिवासी, पिछड़े, दलित सबको उनका अधिकार मिल सके। कमजोर से कमजोर व्यक्ति की आवाज भी सत्ता के उच्चतम स्तर तक पहुँचे तथा शासन-प्रशासन पूरी संवेदनशीलता के साथ जनता की परेशानियों का समाधान करे। मेरे विचार में यही राष्ट्र की सच्ची सेवा है, यही सच्चा लोकतन्त्र है।

मजबूत इरादे और बुलंद हौसले के साथ हमारी सरकार ने लाखों राज्यकर्मियों के लिए पुरानी पेंशन योजना ;व्च्ैद्ध शुरू की है। राज्य के हजारों पुलिसकर्मी भी अपनी छुट्टी के हकदार हुए हैं। 35 लाख जरूरतमंद को पेंशन, 20 लाख अतिरिक्त लोगों को राशन और 57 लाख से अधिक लोगों को सरकार वर्ष में दो बार वस्त्र प्रदान कर रही है। झारखण्ड आंदोलनकारियों की पहचान कर उनके आश्रितों और परिजनों को पेंशन और सम्मान देने की मुहिम चलाई जा रही है। गरीब और वंचित वर्ग के युवा आज विदेशों में शिक्षा लेे रहे हैं। योजनाओं की गठरी बनाकर गाँव-गाँव और पंचायत-पंचायत लाखों जरूरतमंदों के द्वार तक सरकार पहुँची है। राज्य के कई दूरस्थ स्थानों में प्रशासन, देश की आजादी के बाद पहली बार पहुँचा है। बुढ़ा पहाड़ क्षेत्र की बदलती बयार उनमें से एक है। यह सब राज्य के विकास के पथ पर अग्रसर होने के सूचक हैं और इस बात का प्रमाण भी है कि जनता से किये वादे को हम कितनी संजीदगी से निभाने का प्रयास कर रहे हैं।

हमने राज्य के लोगों से वादा किया था कि सभी को 3 कमरे का आवास उपलब्ध करवाएंगे। अपने वादे को पूरा करते हुए आज हम इस मंच से एक नई योजना अबुआ आवास योजना की घोषणा करते हैं। आगामी 2 वर्ष में लगभग 15 हजार करोड़ से ज्यादा खर्च कर राज्य सरकार अपनी निधि से अपने जरूरतमंद लोगों को आवास उपलब्ध करवाएगी।

झारखण्डवासियों की उन्नति, खुशहाली और सशक्तिकरण के लिए हमारी सरकार द्वारा कई योजनाएँ चलाई जा रही है। सावित्रीबाई फूले किशोरी समृद्धि योजना के माध्यम से 7 लाख से अधिक किशोरियों को उनकी शिक्षा के लिए आर्थिक सहायता प्रदान की जा रही है। सखी मंडल के रूप में ग्रामीण महिलाओं को संगठित कर उन्हें आर्थिक रूप से सशक्त किया जा रहा है। फुलो झानो आशीर्वाद योजना के तहत् हड़िया-दारू निर्माण एवं बिक्री से जुड़ी ग्रामीण महिलाओं को सम्मानजनक रोजगार का विकल्प उपलब्ध कराया जा रहा है। हरा राशन कार्ड, बिरसा हरित ग्राम योजना, वीर शहीद पोटो हो खेल विकास योजना, मुख्यमंत्री रोजगार सृजन योजना, सर्वजन पेंशन योजना जैसी कई लोक कल्याणकारी योजनाओं के माध्यम से गरीबों तथा जरूरतमंदों को लाभान्वित किया जा रहा है।

पहले आपको योजनाओं की जानकारी और उनका लाभ लेने के लिए जिला और प्रखण्ड स्तर के कार्यालयों का चक्कर लगाना पड़ता था। परन्तु, अब ‘आपके अधिकार आपकी सरकार आपके द्वार’ कार्यक्रम के तहत् सरकार आपके दरवाजे पर पहुँचकर आपके समस्याओं का समाधान कर रही है। इस कार्यक्रम के तहत् पंचायत स्तर पर कैम्प का आयोजन कर सरकारी योजनाओं से आम नागरिकों को जोड़ा गया है। वर्ष 2021 एवं वर्ष 2022 में इस कार्यक्रम के आयोजन से हमें उत्साहवर्द्धक परिणाम मिले हैं। इसे आगे बढ़ाते हुए इस वर्ष भी ’आपकी योजना-आपकी सरकार-आपके द्वार’ कार्यक्रम का संचालन किया जायेगा।

राज्य में नियुक्ति की प्रक्रिया को तीव्र करते हुए विभिन्न कोटि के लगभग 38 हजार पदों पर नियुक्ति के लिए अधियाचना झारखण्ड कर्मचारी चयन आयोग को भेज दी गई है, जिसमें से 36 हजार पदों पर नियुक्ति हेतु विज्ञापन प्रकाशित किया जा चुका है। शीघ्र ही इन पदों पर नियुक्ति की प्रक्रिया पूर्ण कर ली जायेगी। युवाओं के भविष्य को सुरक्षित करने तथा प्रतियोगी परीक्षाओं में स्वच्छ एवं पारदर्शी चयन प्रक्रिया सुनिश्चित करने के लिए हमारी सरकार द्वारा झारखण्ड प्रतियोगी परीक्षा (भर्ती में अनुचित साधनों की रोकथाम और निवारण के उपाय) विधेयक, 2023 विधान सभा से पारित कराया गया है। हमारी सरकार यह भी सुनिश्चित करने का प्रयास कर रही है कि नियुक्तियों में झारखण्ड के लोगों को उनका उचित हक मिले।

हमारी सरकार ने लम्बे समय से नियुक्ति की बाट जोह रहे राज्य के होनहार युवाओं को हाल में पंचायत सचिव एवं निम्न वर्गीय लिपिक के पदों पर नियुक्त किया है। इसके अलावा सहायक अभियंता, आयुष चिकित्सक, शिक्षक, सहायक लोक अभियोजक, लेखा पदाधिकारी आदि के रिक्त पदों पर भी हमारी सरकार द्वारा हजारों की संख्या में नियुक्तियाँ की गई है। एक वक्त था जब हमारे होनहार छात्र परीक्षा देकर रिजल्ट का इन्तजार करते-करते थक जाते थे, आज कई ऐसे उदाहरण हैं, जब साक्षात्कार के बाद 04-05 घंटे में ही परीक्षा के परिणाम जारी हुए हैं। यह बदलते झारखण्ड, बढ़ते झारखण्ड की तस्वीर है।

हमने राज्य के बेरोजगार युवक-युवतियों से रोजगार प्रोत्साहन भत्ता एवं कौशल प्रशिक्षण का वादा किया था। आज इस मंच से मुझे यह बताते हुए बहुत हर्ष हो रहा है कि राज्य के युवाआंे को हुनरमंद बनाने हेतु कौशल प्रशिक्षण प्रदान करने के निमित्त ‘‘मुख्यमंत्री सारथी योजना‘‘ प्रारंभ की गई है। इस योजना के अन्तर्गत प्रथम चरण में 80 प्रखण्ड मुख्यालयों पर ‘बिरसा केन्द्र’ की शुरूआत की गई है। इस योजना के तहत झारखण्ड के लाखों युवाओं को बिरसा केन्द्रों में कौशल प्रशिक्षण प्रदान करने के साथ-साथ रोजगार प्रोत्साहन भत्ता एवं परिवहन भत्ता भी दिया जा रहा है।

राज्य के आदिवासी, दलित, पिछड़े, अल्पसंख्यक वर्ग एवं दिव्यांग युवाओं को स्वरोजगार/स्वयं के व्यवसाय शुरू करने हेतु सस्ते एवं अनुदानित दर पर ऋण देने के लिए मुख्यमंत्री रोजगार सृजन योजना संचालित है। वर्ष 2022 में लाभुकों के हितों के लिये इस योजना के प्रावधानों को सरल एवं उदार बनाते हुए आवेदकों की अधिकतम उम्र सीमा को 45 वर्ष से बढ़ाकर 50 वर्ष कर दिया गया है। अब 50 हजार रुपये तक ऋण के लिए किसी भी गारन्टर की आवश्यकता नहीं है तथा 50 हजार रुपये से अधिक के ऋण के लिए सिर्फ एक गारन्टर का प्रावधान रखा गया है। वित्तीय वर्ष 2022-23 में इस योजना के तहत् कुल

105 करोड़ ऋण की राशि विमुक्त की गई है तथा वर्तमान वित्तीय वर्ष में इस योजना का और विस्तार किया जाएगा।
मैंने राज्य सरकार के कर्मियों को कहा है कि आप जनता की सेवा करने में हमारा साथ दें, अपनी चिंता मुझ पर छोड दें, हम साथ मिलकर राज्य की तस्वीर बदलेंगे। राज्य कर्मियों के पुरानी पेंशन योजना ;व्च्ैद्ध को लागू करने के चिर-प्रतिक्षित मांग को पूरा करते हुए हमारी सरकार द्वारा 01 सितम्बर, 2022 से राज्य में पुरानी पेंशन योजना लागू कर दिया गया है। विगत दिनों इससे जुड़ी तकनीकी विसंगतियों को दूर करते हुए पुरानी पेंशन योजना से संबंधित ैव्च् को भी निर्गत कर दिया गया है।

राज्य सरकार के कर्मियों को बेहतर माहौल, सुविधा और सम्मान देने के लिए प्रतिबद्ध हमारी सरकार ने राज्य कर्मियों एवं सेवा निवृत कर्मियों को स्वास्थ्य बीमा योजना का लाभ देने की स्वीकृति प्रदान कर दी है। इस योजना के तहत् राज्यकर्मियों/सेवा निवृत कर्मियों एवं उनके परिवार के आश्रित सदस्यों को सम्मिलित रूप से 5 लाख रुपये अधिसीमा के अन्तर्गत कैशलेस स्वास्थ्य बीमा प्रदान किया जायेगा। इस संकल्प को आगे बढ़ाते हुए हमारी सरकार ने संविदा पर कार्यरत महिला कर्मियों को 180 दिन के मातृत्व अवकाश की स्वीकृति भी प्रदान की है।

हमारी सरकार पूरी तत्परता के साथ प्रोन्नति के अड़चनों को दूर कर कार्यरत पदाधिकारियों की समयबद्ध प्रोन्नति सुनिश्चित कर रही है। विगत दिनों झारखण्ड प्रशासनिक सेवा के 190 पदाधिकारियों को प्रोन्नति प्रदान की गई है। साथ ही झाखण्ड पुलिस सेवा के 24 पदाधिकारियों को भारतीय पुलिस सेवा में तथा झारखण्ड प्रशासनिक सेवा के 41 पदाधिकारियों को भारतीय प्रशासनिक सेवा में प्रोन्नति दी गई है।

”सर्वजन हिताय, सर्वजन सुखाय“ के सिद्धांत को लक्ष्य कर हमने सर्वजन पेंशन योजना की शुरुआत की है जिससे समाज के अंतिम पायदान पर खड़े हमारे वृद्ध, निराश्रित महिलाएं एवं दिव्यांगजनों को सम्मान से जीवन जीने का हक प्राप्त हो सके। राज्य सरकार अपने लोक कल्याणकारी दायित्वों का निर्वहन करते हुए लगभग 35 लाख लाभुकों को विभिन्न योजनान्तर्गत पेंशन प्रदान कर रही है। वर्तमान वित्तीय वर्ष में माह जुलाई, 2023 तक कुल 14 सौ करोड़ रुपये पेंशन भुगतान पर व्यय किया गया है।
कुपोषण एवं एनिमिया उन्मूलन हेतु प्रतिबद्ध हमारी सरकार द्वारा विभिन्न योजनाओं के माध्यम से पूरक पौष्टिक पोषाहार उपलब्ध कराया जा रहा है। वर्तमान में लगभग 35 लाख लाभुकों को पूरक पोषाहार उपलब्ध कराया जा रहा है। 03-06 वर्ष के नौनिहालों को आंगनबाड़ी केन्द्र पर गर्म ताजा पका भोजन दिया जा
रहा है।

 

बच्चों को बेहतर और गुणवत्तायुक्त शिक्षा मिले, यह सरकार की प्राथमिकताओं में शामिल है। आधुनिक शिक्षा व्यवस्था एवं प्रतियोगिता परीक्षाओं को ध्यान में रखते हुए झारखण्ड के बच्चों को फनंसपजल म्कनबंजपवद एवं बेहतर अवसर उपलब्ध कराने की सोच के साथ 80 ब्ड ैबीववस व िम्गबमससमदबम का उद्घाटन किया गया है, जहाँ निजी विद्यालयों की तर्ज पर बच्चों को शिक्षा दी जायेगी। इन विद्यालयों को ब्ठैम् से संबद्ध किया गया है तथा नामांकन हेतु जिला स्तर पर परीक्षा का आयोजन किया जा रहा है। साथ ही इन विद्यालयों में पाठ्यक्रम आधारित कक्षावार एवं विषयवार पुस्तक भी उपलब्ध करायी जा रही है।

राज्य के वैसे छात्र जो 12वीं कक्षा उर्त्तीण होने के बाद आर्थिक कारणों से उच्च शिक्षा प्राप्त करने से वंचित रह जाते हैं, उन्हें आर्थिक सहायता प्रदान करने हेतु गुरूजी स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना संचालित की जा रही है। मुख्यमंत्री शिक्षा प्रोत्साहन योजना तथा एकलव्य प्रशिक्षण योजना के माध्यम से छात्र/छात्राओं को निःशुल्क प्रशिक्षण एवं कोचिंग की सुविधा उपलब्ध करायी जा रही है। राजकीयकृत प्रारम्भिक विद्यालय में शिक्षकों की कमी को दूर करने के लिए सहायक आचार्य के 26000 पदों पर नियुक्ति हेतु विज्ञापन प्रकाशित किया जा चुका है।
राज्य सरकार द्वारा वर्ष 2020 में अनुसूचित जनजाति के छात्र/छात्राओं को विदेश में उच्च शिक्षा प्राप्त करने हेतु मराड. गोमके जयपाल सिंह मुण्डा पारदेशीय छात्रवृत्ति योजना का आरम्भ किया गया था। वित्तीय वर्ष 2022-23 से इस योजना का विस्तार करते हुए अनुसूचित जनजाति के अलावा अनुसूचित जाति, अल्पसंख्यक एवं पिछड़ा वर्ग के छात्र/छात्राओं को भी इस योजना से लाभान्वित किये जाने का निर्णय लिया गया है। वर्तमान वित्तीय वर्ष में कुल 22 छात्र/छात्राओं का चयन मराड. गोमके जयपाल सिंह मुण्डा पारदेशीय छात्रवृत्ति योजना के अन्तर्गत तथा 03 छात्र/छात्राओं का चयन ब्ीमअमदपदह मराड. गोमके जयपाल सिंह मुण्डा पारदेशीय छात्रवृत्ति योजना के तहत् किया गया है। इन छात्र/छात्राओं के उच्च शिक्षा पर होने वाले सम्पूर्ण व्यय का वहन राज्य सरकार द्वारा किया जा रहा है।

कमजोर एवं पिछड़े वर्ग के छात्र/छात्राओं की शिक्षा में कोई व्यवधान न हो, इसके लिए राज्य सरकार द्वारा प्री-मैट्रिक एवं पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना के तहत् इन्हें आर्थिक सहायता प्रदान की जा रही है। वित्तीय वर्ष 2022-23 में प्री-मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना के अन्तर्गत 33 लाख छात्र/छात्राओं को

724 करोड़ रुपये की राशि एवं पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना के अन्तर्गत 2 लाख पचास हजार छात्र/छात्राओं को 315 करोड़ रुपये की राशि का भुगतान किया गया है। पिछड़ा वर्ग के छात्र/छात्राओं हेतु सभी प्रमण्डलों में एक-एक नया आवासीय $2 विद्यालय स्थापित किये जा रहे हैं। छात्र/छात्राओं को अत्याधुनिक सुविधायुक्त बहुमंजिला छात्रावास उपलब्ध कराने की कार्रवाई की जा रही है। इन छात्रावासों में मॉडल लाइब्रेरी की सुविधा भी उपलब्ध होगी।

हमारे राज्य की लगभग 80ः आबादी प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से अपनी आजीविका के लिए कृषि और संबद्ध गतिविधियों पर निर्भर है। “खुशहाल किसान, खुशहाल झारखण्ड” के संकल्प को अमली-जामा पहनाने के लिए हमारी सरकार द्वारा किसानों के हित के लिए 88 योजनाएँ चलाई जा रही है। पिछले वर्ष सुखाड़ की चुनौतियाँ हमारे सामने थी, इस कठिन समय में हमारी सरकार हर कदम पर किसानों के साथ खड़ी रही। यद्यपि हमें केन्द्र सरकार से अपेक्षित सहायता नहीं मिली, फिर भी राज्य सरकार द्वारा मुख्यमंत्री सुखाड़ राहत योजना तथा झारखण्ड कृषि ऋण माफी योजना के माध्यम से किसानों को हर संभव सहायता पहुँचाने का प्रयास किया गया। इस वर्ष भी सुखाड़ की आहट है। सुखाड़ की स्थिति पर हम लगातार नजर बनाये हुए हैं और आगे परिस्थिति के अनुसार सरकार द्वारा समुचित निर्णय लिया जायेगा।
ग्रामीण क्षेत्रों में गरीबी और पिछड़ापन दूर करने में मनरेगा महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। भारत सरकार द्वारा झारखण्ड के लिये मनरेगा अन्तर्गत निर्धारित प्रति मानव दिवस मजदूरी दर 228/- रुपये के अतिरिक्त 27/- रुपये की राशि का भुगतान राज्य सरकार द्वारा किया जा रहा है। वर्तमान वित्तीय वर्ष में अब तक कुल तीन लाख साठ हजार योजनाओं को पूर्ण किया जा चुका है तथा करीब सात लाख योजनाओं पर कार्य जारी है।

राज्य के सभी किसानों के पास खेती करने के लिए पर्याप्त सिंचाई के साधन उपलब्ध हों, इसके लिए हमारी सरकार के द्वारा बिरसा सिंचाई कूप योजना के नाम से एक नई योजना प्रारंभ की गई है। इस योजना के तहत् 1 लाख कुओं का निर्माण किया जायेगा। वर्तमान वित्तीय वर्ष में 50 हजार कुओं तथा 15 नवम्बर 2024 तक शेष 50 हजार कुओं निर्माण का कार्य पूर्ण किया जायेगा। इस योजना के लाभार्थियों के चयन में बिरसा हरित ग्राम योजना के लाभार्थी, कृषि कार्य से संबंधित लाभुक तथा बाबा साहेब अंबेडकर आवास योजना के लाभार्थियों को प्राथमिकता दी जा रही है। इस योजना से जल संरक्षण को बढ़ावा मिलेगा तथा जल के सदुपयोग के प्रति लोगों में जागरूकता का संचार भी होगा।
महिलाओं को सशक्त एवं आत्मनिर्भर बनाने के उद्देश्य से दीदी बाड़ी एवं दीदी बगिया योजना का क्रियान्वयन किया जा रहा है। ग्रामीणों की आय में वृद्धि के उद्देश्य से संचालित बिरसा हरित ग्राम योजना के अंतर्गत इस वर्ष लगभग 45 हजार परिवारों के लिए कुल 50,000 एकड़ भूमि पर बागवानी का कार्य किया जा रहा है।

राज्य में सिंचाई सुविधा का विस्तार करने की दिशा में कुल 49 सिंचाई योजनाओं का पुनरूद्धार कार्य पूर्ण कर लिया गया है जिससे लगभग 54 हजार हेक्टेयर कृषि भूमि पर सिंचाई सुविधा पुनर्बहाल की गयी है एवं विभिन्न जिलांे में 24 योजनाओं के नहरों का पुनरूद्धार कार्य प्रगति पर है, जिसे अगले वर्ष में पूर्ण कर अतिरिक्त 42 हजार हेक्टेयर से ज्यादा भूमि पर सिंचाई सुविधा पुनर्बहाल की जा सकेगी।
सिंचाई परियोजनाओं में विस्थापन/डूब क्षेत्र/भूमि अधिग्रहण को न्यूनतम करने के उद्देश्य से मेगा लिफ्ट सिंचाई परियोजना की परिकल्पना की गई है। इस क्रम में गढ़वा जिलान्तर्गत सोन-कनहर पाईपलाईन योजना तथा दुमका जिला अन्तर्गत मसलिया रानेश्वर मेगा लिफ्ट योजना क्रियान्वित की जा रही है। इन योजनाओं से गढ़वा जिला में 22 हजार हेक्टेयर तथा दुमका जिला में 22 हजार हेक्टेयर में सिंचाई एवं पेयजलापूर्ति की जाएगी। वर्तमान वित्तीय वर्ष में 150 चेकडैम का निर्माण एवं 100 मध्यम सिंचाई योजनाओं का पुनसर््थापन करने का लक्ष्य है।

हमारी सरकार कृषि, ग्रामीण विकास, शिक्षा, स्वास्थ्य के साथ साथ राज्य में आधारभूत संरचना के निर्माण को भी बढ़ावा दे रही है। राज्य में सड़क मार्ग, रेल मार्ग एवं वायु मार्ग का विस्तार हुआ है। पर्यटन, औद्योगिक एवं आर्थिक महत्व के केन्द्रों को उन्नत सम्पर्क प्रदान करने के साथ-साथ ग्रामीण पथों एवं राष्ट्रीय राजमार्गों के बीच सड़क नेटवर्क तैयार किया जा रहा है। वर्ष 2022-23 में लगभग पन्द्रह सौ साठ करोड़ रुपये की राशि के 32 पथ एवं पुल योजनाओं का विधिवत उद्घाटन तथा लगभग सोलह सौ चालीस करोड़ रुपये की राशि के 104 अद्द पथ एवं पुल योजनाओं का विधिवत् शिलान्यास किया गया है। इसके अलावा रांची शहर को ट्रैफिक जाम की समस्या से मुक्ति दिलाने हेतु सिरमटोली त्व्ठ ब्नउ थ्सलवअमत का निर्माण युद्ध स्तर पर किया जा रहा है, जिसे काँटाटोली फ्लाई ओवर से जोड़ा जायेगा। रातु रोड फ्लाई ओवर का निर्माण कार्य भी प्रगति पर है तथा सहजानन्द चौक से कांके रोड के लिए फ्लाई ओवर का निर्माण भी प्रस्तावित है। इससे राँची शहर के एक बड़े हिस्से में आवागमन सुगम हो सकेगा।

मुख्यमंत्री ग्राम सड़क योजनान्तर्गत वित्तीय वर्ष 2023-24 में 1000 करोड़ रुपये के बजटीय उपबंध से लगभग 2000 किलोमीटर पथों के निर्माण का लक्ष्य है। अब तक 30 योजनाएँ पूरी की जा चुकी है जिसमें 206 करोड़ रुपये की राशि का व्यय कर 93 किलोमीटर पथ का निर्माण किया जा चुका है। मुख्यमंत्री ग्राम सेतु योजना अन्तर्गत 70 पुल निर्माण के लक्ष्य के विरुद्ध अब तक 18 पुल के निर्माण का कार्य पूर्ण कर लिया गया है।

राज्यवासियों को शुद्ध पेयजल उपलब्ध हो सके इसके लिए हम तेजी से काम कर रहे हैं। जल जीवन मिशन के तहत वर्ष 2024 तक राज्य के कुल 61 लाख ग्रामीण परिवारों को कार्यरत घरेलू नल जल ;थ्भ्ज्ब्द्ध के द्वारा षुद्ध पेयजल की उपलब्धता सुनिश्चित किये जाने के लक्ष्य के विरूद्ध अब तक 23 लाख 80 हजार परिवारों को इस योजना से आच्छादित किया जा चुका है।

स्वच्छ ऊर्जा समय की माँग है। हाइड्रोजन भविष्य का ईंधन है और स्वच्छ ऊर्जा का सबसे बेहतर विकल्प भी। इसे ध्यान में रखते हुए हमारी सरकार द्वारा जमशेदपुर में देश का पहला हाइड्रोजन ईंधन उद्योग लगाने के प्रस्ताव को स्वीकृति दी गई है। स्वच्छ पर्यावरण के लिए “नेट जीरो” उत्सर्जन के लक्ष्य को हासिल करने में झारखण्ड अग्रणी भूमिका निभा रहा है। इस दिशा में कदम बढ़ाते हुए हमारी सरकार द्वारा झारखण्ड सौर ऊर्जा नीति, 2022 लागू की गई है। इसके अन्तर्गत अगले 05 वर्षों में राज्य में समेकित रूप से लगभग 4000 मेगावाट क्षमता के सौर ऊर्जा उत्पादन का लक्ष्य रखा गया है। इसके अतिरिक्त झारखण्ड विद्युत वाहन नीति, 2022 एवं झारखण्ड इथेनॉल उत्पादन प्रोत्साहन नीति, 2022 लागू की गयी है। गिरिडीह को सोलर सिटी के रूप में विकसित करने की कार्रवाई की जा रही है।

खेलों के माध्यम से भी झारखण्ड के युवा आगे बढ़ें, इसके लिए हमारी सरकार ने झारखण्ड खेल नीति 2022 को अधिसूचित किया है। झारखण्ड के नौजवानों में खेल के प्रति रूचि, जागरूकता और झुकाव को मैंने काफी करीब से महसूस किया है। यहाँ के खिलाड़ियों को प्लेटफॉर्म उपलब्ध कराना हमारी प्राथमिकता है। हर गाँव-पंचायत में खेल के मैदान बनाये जा रहे हैं, वहीं प्रखण्ड में स्टेडियम का निर्माण किया जा रहा है। खिलाड़ियों को प्रशिक्षण के लिए सभी सुविधायें उपलब्ध करायी जा रही है। झारखण्ड की खेल प्रतिभाओं की पहचान कर उनका क्पहपजंस क्ंजं ठंेम तैयार करने हेतु जोहार खिलाड़ी पोर्टल का शुभारम्भ किया गया है।

झारखण्ड को हमेशा खनन के नजरिए से देखा गया है, इस राज्य को आकर्षण के नजरिए से दुनिया देखे, यही हमारा लक्ष्य है। झारखण्ड की कला, संस्कृति, प्राकृतिक सौंदर्य, समृद्ध विरासत, गीत संगीत, भाषा एवं जीवन शैली को संरक्षित करने और इसे आगे बढ़ाने की दिशा में सरकार लगातार प्रयास कर रही है। इस कड़ी में झारखण्ड आदिवासी महोत्सव का आयोजन सरकार का एक महत्वपूर्ण एवं दूरगामी कदम है। मुझे पूर्ण विश्वास है कि इस आयोजन से झारखण्ड भविष्य में अंतर्राष्ट्रीय पटल पर अपनी एक अलग पहचान कायम करेगा।

झारखण्ड की अस्मिता और पहचान को अक्षुण्ण रखते हुए पारम्परिकता और आधुनिकता के संतुलित दृष्टिकोण के साथ हम विकास की ऊँचाइयों को छूने का प्रयास कर रहे हैं। यह आपकी सरकार है, आपके दुःख-दर्द, तकलीफ, परेशानी और समस्याओं के समाधान के लिए 24 घंटे काम कर रही है। विकास की इस यात्रा में हम सबको साथ लेकर आगे बढ़ने का प्रयास कर रहे हैं। जल, जंगल और जमीन से जुड़ी हमारी समृद्ध परम्परा और प्रकृति के साथ सामंजस्य बनाकर जीने की हमारी जीवन शैली दुनिया को जीने की सच्ची राह दिखाता है।

अंत में मैं, एक बार फिर आप सभी को स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक बधाई और शुभकामनायें देता हूँ। याद रखिये! पूर्वजों की कुर्बानियाँ हमारे ऊपर बहुत बड़ा कर्ज है, यह कर्ज तभी उतरेगा, जब राष्ट्र और राज्य के नव-निर्माण में हम सभी मिलकर सहयोग करेंगे। मैं राज्य के युवाओं को विशेष रूप से कहना चाहता हूँ कि युवा शक्ति अपनी रचनात्मक और सकारात्मक ऊर्जा का उपयोग झारखण्ड के नव-निर्माण के लिए करें। सबको साथ लेकर चलने वाली संस्कृति ही भारतीय राष्ट्रवाद की बुनियाद है। मुझे पूरा भरोसा है कि हम सब मिलकर झारखण्ड को एक समृद्ध, खुशहाल एवं विकसित राज्य बनाने में जरूर सफल होंगे।

जय हिन्द! जय झारखण्ड!

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