A unique example of faith seen in the district jail of Guru Vashisht's city on Navratri

*जिला कारागार में निरूद्ध 390 बंदियों ने रखा नवरात्रि का व्रत*

बस्ती ,26 सितंबर (आरएनएस/FJ)। गुरु वशिष्ठ की नगरी बस्ती में आस्था की अनोखी मिसाल देखने को मिली है। यहां जि़ला कारागार में बंद तीन मुस्लिम कैदियों ने भी नवरात्रि का व्रत रखा है। यही नहीं इन मुस्लिम कैदियों ने कलश स्थापना भी की है। वह सुबह शाम पूजा पाठ भी करते हैं। मुस्लिम कैदियों ने नवरात्रि का व्रत रखकर सम्प्रायिक सौहार्द की अद्भुत मिसाल पेश की है। कारागार में अपने गुनाहों की सजा काट रहे तीन मुस्लिम बंदियों ने नवरात्रि का व्रत रखा है।

इन मुस्लिम कैदियों ने नौ दिन का व्रत रखने के साथ ही कलश स्थापना भी की है। पूजा में किसी भी त्रुटि से बचने के लिए वह हिन्दू कैदियों की मदद भी लेते हैं। मुस्लिम कैदियों की ये आस्था पूरे जेल में चर्चा का विषय बनी हुई है।
जेल प्रशासन भी पूजा-पाठ में दे रहा सहयोग

जेल में मुस्लिम कैदियों द्वारा व्रत रखे जाने पर जेल प्रशासन उनका सहयोग कर रहा है। व्रत-पूजा में उनकी मदद करते हुए उनके लिए प्रसाद व फलाहार की व्यवस्था भी कराई जा रही है। वरिष्ठ जेल अधीक्षक शशिकांत सिंह ने बताया कि जेल में कुल 390 कैदियों ने नवरात्रि का व्रत रखा है, जिनमें 358 पुरूष व 29 महिलाएं और तीन मुस्लिम कैदियों ने भी आस्था की मिसाल पेश की है।

समयमाता मंदिर में श्रद्धालु बंदियों को सुबह से रही भीड़

जेल में है समय माता का मंदिर अंग्रेजों के शासनकाल में 1888 में निर्मित हुआ था तबसे यहां पूजापाठ होता है।जिला जेल के भीतर ईशान कोण पर समय माता का स्थान है। मान्यता है कि यहां आस्था रखने वालों की मन्नत पूरी होती है।तमाम बंदियों की मन्नतें पूरी हुई हैं।

जेल प्रशासन की देखरेख में यहां पूजा-पाठ कराया जाता है। इस वरिष्ठ अधीक्षक ने व्रत रखने वाले सभी बंदियों को पहली बार दर्शन पूजन करने अनुमति दी है इसके बाद सोमवार की सुबह पांच बजे से ही हेडवार्डर सहित चार बंदीरक्षकों की ड्यूटी लगा जेलर ने लगा दी थी,दर्शन पूजन करने की अनुमति पाने पर व्रत रखने वाले सभी बंदी प्रसन्न दिखे।

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