उदयपुर ,19 दिसंबर (एजेंसी)। लेकसिटी घूमने आए गुजरात मूल के अमेरिकन चिकित्सक डॉ. संजय पटेल की हत्या केवल आठ हजार रुपए के पीछे कर दी गई थी। डॉक्टर 8 हजार रुपए में एक कॉर्लगर्ल बुक की थी लेकिन दलालों को जब उसके एनआरआई होने का पता चला तो वह पैसे लेकर कार से भागने लगे तो वह कार की खिड़की पर लटक गया। बीस मीटर तक कार से घिसटने के बाद वह सिर के बल बिजली के खंभे से टकरए और मौके पर ही उसकी मौत हो गई।
घटना का पता जब उनके मित्रों को लगा तो वह होटल से दौड़कर आए और डॉ. पटेल को अस्पताल लेकर पहुंचे लेकिन उनकी मौत हो चुकी थी। डॉ. संजय अमेरिका के टेक्सास में अपने परिवार के साथ रहते थे और 3 दिन के लिए उदयपुर में मित्रों के साथ घूमने आए थे। जिस होटल में वह ठहरे उसके सीसीटीवी फुटेज की जांच जब पुलिस ने की तो पता चला कि रात ढाई बजे डॉ. संजय अपनी होटल से बाहर निकले थे। वह किसी से फोन पर बात कर रहे थे।
इसी दौरान होटल के बाहर ग्रे कलर की स्विफ्ट कार आकर रूकी। उसमें अंदर बैठे लोगों ने उसकी बात हो रही थी, जो कुछ देर बाद बहस में बदल लगी। अचानक कार तेज रफ्तार से निकली और डॉ. संजय उस कार के दरवाजे से लटके हुए नजर आए। बीस मीटर दूर घिसटने के बाद वह कार अन्य कार से टकराई और डॉ. संजय छिटककर बिजली के खंभे से सिर के बल टकराए। जिसको लेकर डॉ. संजय के मित्र प्रग्नेश पटेल ने गोवर्धनविलास थाने को सूचित कर मामला दर्ज कराया था।
गोवर्धनविलास थानाधिकारी अजय सिंह राव ने बताया कि हादसे के दो दिन बाद 11 दिसम्बर को सवीना निवासी हितेश उदासी उर्फ राहुल पुत्र राजेश उदासी तथा उसके मित्र धानमंडी निवासी दिनेश साहू उर्फ लंगड़ा पुत्र निर्मल साहू को गिरफ्तार कर लिया गया। जिसमें आरोपियों ने कबूल किया था कि वह डॉ. संजय के लिए उनकी पसंद की कॉलगर्ल लेकर पहुंचे थे।
उनके बात करने के सलीके तथा कपड़ों से लगा कि वह एनआरआई हैं और यहां घूमने आए हैं। पैसे मिलते ही वह भागने लगे तो डॉ. संजय ने कार के आगे के दरवाजे का विंडो कसकर पकड़ लिया था। वह उन्हें मारना नहीं चाहते केवल उनके रुपए हड़पने के मूड में थे। पुलिस ने आरोपियों की कार तथा उनके मोबाइल जब्त कर लिया, जिसमें डॉक्टर तथा उनके बीच बातचीत हुई थी।
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