*कांग्रेस पुजारियों नहीं, तपस्वियों की पार्टी*
रायपुर, 26 फरवरी (एजेंसी)। कांग्रेस अधिवेशन के अंतिम दिन आज पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने अपने संबोधन में मोदी सरकार पर सीधा हमला बोलते हुए कहा कि मैंने संसद में एक उद्योगपति पर निशाना साधा कि वो उद्योगपति कैसे नंबर वन बन जाते हैं ? एक ही उद्योगपति को सभी देशों में काम मिल जाता है। पीएम मोदी से यही सवाल पूछा कि अडानी से आपका रिश्ता क्या है?
पूरी मोदी सरकार इस सवाल के बाद अडानी की रक्षा करने लगी। क्या अडानी देश के लिए सबसे बड़े भक्त हैं? क्या है इस अडानी में, कि पूरी मोदी सरकार उसके सपोर्ट में खड़ी हो जाती है। अडानी मामले की जांच क्यों नहीं हो रही है ? जेपीसी क्यों नहीं बैठाई जा रही है? अडानी और मोदी एक हैं। देश का पूरा धन एक व्यक्ति के हाथ में जा रहा है। हम जब सिर्फ ये पूछते हैं कि रिश्ता क्या है?
हमारी पूरी की पूरी स्पीच हटा दी जाती है। जब तक अदानी की सच्चाई सामने नहीं आ जाती हम सवाल पूछते रहेंगे। अदानी की कंपनी में जो लोग काम कर रहे हैं, उनसे मैं कहना चाहता हूं कि यह कंपनी देश को नुक़सान पहुंचा रही है। आज़ादी की लड़ाई भी एक कंपनी से शुरू हुई थी। उस कंपनी ने भी हिंदुस्तान का सारा धन उठा लिया था। इतिहास रिपीट हो रहा है। देश के खिलाफ काम हो रहा है। देश के खिलाफ काम होगा तो कांग्रेस पार्टी खड़ी हो जाएगी।
ये पुजारियों की पार्टी नहीं, तपस्वियों की पार्टी है। सिफऱ् चार महीने की तपस्या से सबसे देखा कि देश में कैसे जान आ गई। तपस्या बंद नहीं होनी चाहिए। हर नेता को इस तपस्या में शामिल होना चाहिये। सबका पसीना निकलना चाहिए। सीनियर नेता बैठे हैं। तपस्या का प्रोग्राम बनाइए। अपना खून पसीना देश को देंगे। हम जैसे ही तपस्या में खड़े हो जाएंगे, पूरा देश इसमें शामिल हो जाएगा।
राहुल गांधी ने कहा कि सावरकर की विचारधारा है कि जो सबसे मजबूत हो, उसके सामने सिर झुका दो। आज केंद्र के मंत्री कहते हैं जो आर्थिक रूप से मजबूत देश है उसके सामने टिक नहीं सकते। क्या यह देश भक्ति है, क्या यह राष्ट्रवाद है? यह तो यह तो सावरकर की विचारधारा है। भाजपा सत्ताग्राही पार्टी है। सत्ता के लिए किसी के सामने झुक जाएगी।
राहुल गांधी ने कहा कि कश्मीर किसी को पत्थर लगता है, बाकी लोग खुश क्यों होते हैं? समझ नहीं आता। कश्मीर घुसते हैं तो 40 हजार लोग हमारे साथ जुडऩे के लिए खड़े थे। पुलिस के लोग भीड़ देख गायब हो गए। कश्मीर के लोग तिरंगा उठाकर स्वगात कर रहे थे। आतंक प्रभावित इलाका जिसे कहा जाता है उस इलाके के युवाओं के हाथ में तिरंगा था।
सीआरपीएफ के लोग भी इसे देखकर आश्चयचकित थे। भारत के प्रधानमंत्री कहते हैं कि मैंने भी लाल चौक पर तिरंगा फहराया था। मुझे लगता है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को फर्क अभी तक समझ नहीं आया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस और भाजपा में क्या फर्क है,समझिए। हमने तिरंगे की भावना वहां के युवाओं में डाल दी।
कश्मीर के लोगों ने मुझसे कहा आपने अपना दिल हमारे लिए खोला, हम अपने दिलमें तिरंगा खोल दिया है। यह काम भारत जोड़ो यात्रा ने किया। यह राहुल गांधी ने नहीं, कार्यकर्ताओं ने किया है, जनता ने किया है।
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