Foreign laborers again targeted by terrorists in Jammu and Kashmir

*अनंतनाग में हुई फायरिंग में 2 घायल*

श्रीनगर ,13 नवंबर(एजेंसी)।  जम्मू-कश्मीर में आतंकवादियों ने अप्रवासी मजदूरों पर फिर गोलीबारी की है। अनंतनाग जिले में दहशतगर्दों की फायरिंग में 2 गैर-स्थानीय श्रमिक घायल हो गए। घायलों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। कश्मीर क्षेत्र पुलिस ने ट्वीट करके बताया कि यह घटना अनंतनाग के राख-मोमिन इलाके में हुई। पुलिस ने बताया कि हमलावरों की तलाश के लिए पूरे क्षेत्र की घेराबंदी कर दी गई है।

घायल मजदूरों की पहचान प्रसाद और गोविंद के तौर पर हुई है, जो उत्तर प्रदेश के रहने वाले हैं। रिपोर्ट के मुताबिक, बेहतर इलाज के लिए दोनों को जीएमसी अनंतनाग शिफ्ट कर दिया गया है। इससे पहले 3 नवंबर को अनंतनाग जिले में ही आतंकियों ने दो अप्रवासी मजूदरों को गोली मार दी थी। दोनों को गंभीर चोटें आईं, मगर इलाज के बाद वे रिकवर हो गए। दोनों श्रमिक जिले में स्थित एक प्राइवेट स्कूल में काम करते थे।

अक्टूबर में भी हुआ बाहरी मजदूरों पर हमला

इसी साल 18 अक्टूबर को भी आतंकियों ने दो गैर-कश्मीरी मजदूरों को निशाना बनाया था। शोपियां जिले में स्थित उनके टिन-शेड शेल्टर पर हैंड ग्रेनेड फेंका गया था। इस हमले में दोनों की मौत हो गई। इनकी पहचान मनीष कुमार और राम सागर के तौर पर हुई, जो यूपी के रहने वाले थे।

1 साल में 10 बाहरी मजदूरों की हत्या

दरअसल, पूरी कश्मीर घाटी में डर का माहौल पैदा करने के लिए आतंकी बाहरी मजदूरों और कश्मीरी पंडितों पर हमले कर रह हैं। आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक, बीते एक साल में आतंकवादियों के हमलों में 10 बाहरी मजदूरों और 4 कश्मीरी पंडितों की मौत हुई है। प्रशासन की ओर से इन हमलों को रोकने की हर संभव कोशिश की जा रही है। हाल के दिनों में घाटी में आतंक के खिलाफ सेना का ऑपरेशन तेज कर दिया गया है।

*********************************

इसे भी पढ़ें : आबादी पर राजनीति मत कीजिए

इसे भी पढ़ें : भारत में ‘पुलिस राज’ कब खत्म होगा?

इसे भी पढ़ें : प्लास्टिक मुक्त भारत कैसे हो

इसे भी पढ़ें : इलायची की चाय पीने से मिलते हैं ये स्वास्थ्य लाभ

तपती धरती का जिम्मेदार कौन?

मिलावटखोरों को सजा-ए-मौत ही इसका इसका सही जवाब

जल शक्ति अभियान ने प्रत्येक को जल संरक्षण से जोड़ दिया है

इसे भी पढ़ें : भारत और उसके पड़ौसी देश

इसे भी पढ़ें : चुनावी मुद्दा नहीं बनता नदियों का जीना-मरना

इसे भी पढ़ें : *मैरिटल रेप या वैवाहिक दुष्कर्म के सवाल पर अदालत में..

इसे भी पढ़ें : अनोखी आकृतियों से गहराया ब्रह्मांड का रहस्य

इसे भी पढ़ें : आर्द्रभूमि का संरक्षण, गंगा का कायाकल्प

इसे भी पढ़ें : गुणवत्ता की मुफ्त शिक्षा का वादा करें दल

इसे भी पढ़ें : अदालत का सुझाव स्थाई व्यवस्था बने

इसे भी पढ़ें : भारत की जवाबी परमाणु नीति के

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *